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वेद, महाभारत और रामायण सब समेटे हैं युगों का इतिहास, विधानसभाध्यक्ष ने किया पुस्तक का विमोचन

इस दौरान वरिष्ठ पत्रकार निरंकार सिंह, आदर्श प्रकाश सिंह, दर्शन साहू और राजधानी के इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के अनेक पत्रकार इस कार्यक्रम में सम्मिलित हुए।

Update: 2021-08-16 09:24 GMT

लखनऊ। प्रख्यात लेखक और उत्तर प्रदेश विधानसभा के अध्यक्ष ह्रदय नारायण दीक्षित ने इस बात पर चिंता जाहिर की है कि इतिहास लेखन के अंग्रेजों के ढर्रे को हमने स्वीकार कर लिया है। उन्होंने कहा कि इसके विपरीत अपने देश में इतिहास लेखन की कोई एक निश्चित विधा नहीं रही है। वह गद्य में भी है और पद्य में भी है।


वरिष्ठ पत्रकार राज खन्ना की पुस्तक 'आजादी से पहले और आजादी के बाद' का लखनऊ स्थित अपने आवास पर विमोचन करते हुए दीक्षित ने कहा कि वेद, महाभारत और रामायण सब इस देश-समाज का युगों का इतिहास समेटे हैं। अविश्वास करने वाले किया करें, लेकिन लोक और जन उस पर विश्वास करता है। दीक्षित के अनुसार अपनी विदेश यात्राओं में उन्होंने लोगों से प्रश्न किया कि क्या उनके देश में भी सत्यवादी हरिश्चन्द्र जैसा कोई राजा है , जिस पर दूरस्थ गांव के लोग भी भरोसा करते हैं। उन्होंने कहा कि इस देश की परम्परा निरन्तर खोज और जिज्ञासाओं के समाधान की है। उन्होंने पुस्तक अधिकाधिक पाठकों के हाथों में पहुंचने और पढ़े जाने के लिए शुभकामनाएं दीं।


मुख्यमंत्री के मीडिया सलाहकार मृत्युंजय कुमार सिंह ने पुस्तक की लेखन शैली की सराहना की। उन्होंने कहा कि लेख इतिहास से जुड़े किसी प्रसंग के साथ सहज भाव से शुरू होते हैं और फिर आगे का घटनाक्रम कथा रस का आनन्द देते हुए जटिल गुत्थियों को खोलता जाता है। जनसंदेश टाइम्स के प्रधान संपादक सुभाष राय ने कहा कि राज खन्ना लिखते समय बोलते से प्रतीत होते हैं, जिससे वह सीधे पाठक से जुड़ते हैं। उनके पास तथ्य भी हैं और उन्हें प्रस्तुत करने की सरल-सहज रोचक शैली भी हैं। उन्होंने अथक श्रम से लेखन किया है और प्रस्तुति के मोहक अंदाज से पुस्तक को महत्वपूर्ण और मूल्यवान बना दिया है। वरिष्ठ पत्रकार वीरेंद्र नाथ भट्ट ने कहा कि जिन्हें आजादी से जुड़े संघर्ष और सवालों के जबाब और उनसे जुड़े प्रसंगों की प्रमाणिक जानकारी चाहिए, उन्हें यह पुस्तक जरूर पढ़नी चाहिए।


वरिष्ठ पत्रकार और पूर्व सूचना आयुक्त राजकेश्वर सिंह ने कहा कि वह अपने छात्र जीवन से एक पत्रकार के रूप में पुस्तक लेखक के प्रशंसक रहे हैं। प्रसन्नता है कि उन्होंने इस छवि को संजोए रखा है। कार्यक्रम का प्रभावी संचालन 'इंडिया इनसाइड' के संपादक अरुण सिंह ने किया। उन्होंने किताब के शीर्षक 'आजादी से पहले-आजादी के बाद' का जिक्र करते हुए कहा कि इन दोनों के बीच के प्रसंगों पर अगली पुस्तक रचना की राज खन्ना से अपेक्षा है। उन्होंने पुस्तक की सामग्री और शैली को बेहतरीन बताया। वरिष्ठ पत्रकार सत्यदेव तिवारी ने विधानसभा अध्यक्ष को स्मृति चिन्ह और उत्तरीय भेंट किया। इस दौरान वरिष्ठ पत्रकार निरंकार सिंह, आदर्श प्रकाश सिंह, दर्शन साहू और राजधानी के इलेक्ट्रॉनिक मीडिया के अनेक पत्रकार इस कार्यक्रम में सम्मिलित हुए।

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