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ग्वालियर झांसी हाइवे शुरू, मुरैना ओवरब्रिज 90 प्रतिशत तैयार

ग्वालियर चंबल में फोर-वे और सिक्स-वे मार्गों से होगी यात्रा सुगम

Update: 2020-07-28 01:01 GMT

ग्वालियर, विशेष प्रतिनिधि। ग्वालियर चंबल संभाग में जहां ग्वालियर झांसी फोर वे लाइन बनकर तैयार होने से इस मार्ग पर आवागमन शुरू हो गा है। वहीं मुरैना का ओवरब्रिज भी लगभग पूर्णता की ओर है। इसी के साथ बेस्टर्न वायपास और चंबल एक्सप्रेस-वे के लिए कार्य योजना बनकर तैयार है। इन दोनों मार्गों के बनने से ग्वालियर चंबल में सुगम मार्गों का जाल बिछ जाएगा। जिससे दूरदराज की यात्रा बेहद आसान और सुगम हो जाएगी।

केन्द्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर के प्रयासों से केन्द्रीय परिवहन मंत्री नितिन गडकरी ने ग्वालियर चंबल अंचल के लिए विशेष रुचि दिखाई है। जिससे अब बेस्टर्न वायपास और चंबल प्रोगे्रस-वे के लिए भी काम शुरू होने जा रहा है। इन सभी कार्यों के पूर्ण होने जाने पर ग्वालियर-चंबल अंचल भी बड़े महानगरों की गिनती में आ जाएगा। राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण पीआईयू ग्वालियर द्वारा इन दोनों महत्वपूर्ण परियोजनाओं को तेजी के साथ अंतिम रूप दिया जा रहा है। जिसमें बेस्टर्न वायपास के लिए डीपीआर बन गई है व चंबल प्रोग्रेस-वे के लिए भूमि अधिग्रहण का काम शुरू करने के साथ ही डीपीआर बनाई जा रही है।

हेमा मालिनी व रवीना टंडन सड़क की दुर्दशा बयां कर चुकीं

ग्वालियर से झांसी तक के फोरवे के लिए 364 करोड़ की लागत से वर्ष 2018 में कार्य शुरू हुआ। जिसे मैसर्स गावर कंस्ट्रक्शन हरियाणा ने पूर्ण किया। 82 किमी लंबे इस मार्ग में अड़ूपुरा से जौरासी मार्ग पर काली चट्टान काफी बाधा बनी। यहां एक बाबा के स्थान को परिवर्तित कर पहाड़ काटकर मार्ग बनाया गया। पहले इस मार्ग की दुर्दशा को लेकर अभिनेत्री हेमा मालिनी और रवीना टंडन भी टिप्पणियां कर चुकी हैं। ये दोनों ही अभिनेत्रियां अलग-अलग समय पर कार्यक्रमों में हिस्सा लेने के लिए सड़क मार्ग से ग्वालियर से दतिया और झांसी गई थीं। अब इस मार्ग पर दोनों ओर से आवागमन शुरू हो चुका है।



मुरैना फ्लाई ओवर में लगे 26 स्पान

मुरैना बैरियर पर अक्सर वाहनों के कारण लंबा जाम लगा रहता है। इस परेशानी को दूर करने के लिए केन्द्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर के प्रयासों से 76 करोड़ की रुपए की लागत से 1.42 किमी लंबा पुल 90 फीसदी बनकर तैयार है। सितम्बर 2018 में इस पुल का निर्माण मंगलम बिल्डर गुजरात ने शुरू किया। यहां 28 में से 26 स्पान लग चुके हैं। दोनों ओर एप्रोच मार्ग रह गए हैं। यह सभी कार्य 15 सितम्बर 2020 तक पूर्ण होने की संभावना है।

वेस्टर्न वायपास से साडा होगा सुसज्जित

रायरू, साडा मार्ग, तिघरा, नौगांव, बेला की बावड़ी तक 30 किमी लंबे इस मार्ग के लिए परिवहन मंत्री नितिन गडकरी की विशेष रुचि से लगभग 82 लाख रुपए में डीपीआर बना ली गई है। इसके लिए सर्वे चल रहा है। 300 करोड़ रुपए की लागत से इस मार्ग के बनने से साडा क्षेत्र को खासा लाभ होगा। साथ ही जिनावली, ओड़पुरा, बिठौली, जिगसौली, कुलैथ, खेरिया आदि गांव भी मुख्य मार्ग से जुड़कर आबाद हो जाएंगे।

चंबल प्रोग्रेस-वे पर खर्च होंगे आठ हजार करोड़

404 किमी लंबे इस मार्ग के निर्माण पर आठ हजार करोड़ रुपए खर्च होंगे। इसके लिए डीपीआर बनना शुरू कर दी गई है। इटावा से जीक्यूडब्ल्यू गोल्डन के साथ ही यह मार्ग मुरैना, अम्बाह, पोरसा, सबलगढ़ और श्योपुर तक बनेगा। इस मार्ग के बनने के बाद यह प्रोगे्रस-वे दिल्ली-मुंबई एक्सप्रेस वे से जुड़ जाएगा। इस मार्ग के लिए पूरी जमीन राज्य सरकार दे रही है। भू-अर्जन के लिए 21 जुलाई शिविर लगना शुरू हो गए हैं, जो 7 अगस्त तक चलेंगे। इस मार्ग के लिए 1335 हैक्टेयर जमीन की आवश्यकता है। जिसमें 725 हैक्टेयर जमीन किसानों से ली जाएगी। इसमें मुरैना जिले के 72 गांव की जमीन शामिल रहेंगी।

इनका कहना है

ग्वालियर चंबल क्षेत्र में ग्वालियर झांसी हाइवे का कार्य पूर्ण होने के साथ ही मुरैना ओवर ब्रिज 90 प्रतिशत पूर्ण हो गया है। अब बेस्टर्न वायपास और प्रोगे्रस-वे के लिए कार्रवाई शुरू कर दी गई है। दोनों की ही डीपीआर बनने और भू-अर्जन के बाद कार्य शुरू कराया जाएगा।

संजय वर्मा,प्रोजेक्ट निदेशक ,एनएचएआई, पीआईयू ग्वालियर

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