नौतपा 2025: आज से शुरू हो गया नौतपा, जानें आने वाले नौ दिन सूर्य को प्रसन्न करने के लिए क्या करें?

Update: 2025-05-25 03:58 GMT

हर साल मई या जून के महीने में नौतपा शुरू होता है। इन नौ दिनों में साल की सबसे ज्यादा तपन होती है। हर साल सूर्य के रोहिणी नक्षत्र में प्रवेश करने पर नौतपा शुरू होती है और जैसे ही सूर्य मृगशिरा नक्षत्र में आता है नौतपा समाप्त हो जाता है। सनातन धर्म के अनुसार यह समय गर्मी और सूर्य की प्रचंड तपिश के लिए प्रसिद्ध होता है। इस साल आज यानी रविवार 25 मई से नौतपा शुरू हो रहे हैं। इन दिनों में सूर्य भगवान की पूजा भी की जाती है। ऐसे में आइए जानते हैं सूर्य को प्रसन्न करने के लिए क्या करना चाहिए?

कब है नौतपा?

ज्येष्ठ का महीना भीषण गर्मी का होता है। आज यानी 25 मई को सूर्य देव रोहिणी नक्षत्र में प्रवेश कर लिए हैं। इसी के साथ नौतपा की शुरुआत भी हो गई है। ज्योतिष के अनुसार साल 2025 में सूर्य देव 25 मई को सुबह 3:27 पर रोहिणी नक्षत्र में गोचर में चले गए हैं और अब 8 जून तक इसी नक्षत्र में रहेंगे। ऐसे में 25 मई से लेकर 8 जून तक की समयवधि नौतपा की रहेगी।

नौतपा में क्या करें?

सूर्य की पूजा करें - नौतपा में सूर्यदेव की पूजा करना लाभकारी होता है। सुबह उठकर सूरज को जल चढ़ाना चाहिए। इससे मन को शांति मिलती है।

दान करें- इन नौ दिनों में खूब दान देना चाहिए। स्कंद पुराण के अनुसार नौतपा के दिनों में अन्न, जल, सत्तू, पंखा, घड़ा, मौसमी फल, वस्त्र, छाता और जूते, चप्पलों का दान करना शुभ होता है, इससे ग्रहों के अशुभ दोष दूर होते हैं।

पक्षियों के लिए पानी रखें- इसके अलावा पछियों के लिए जल भी रखना बेहद शुभ माना जाता है। आप खुले में या फिर घर के छत में किसी मिट्टी के बर्तन में पानी रख सकते हैं।

हनुमान की करें पूजा- ज्येष्ठ माह में ही हनुमान और भगवान राम की मुलाकात हुई थी। इसी कारण से इस महीने में बजरंगबली की पूजा की जाती है।

नौतपा में क्या नहीं करें

मांगलिक कार्य-  इन नौ दिनों में प्रचंड गर्मी के साथ आंधी तूफान चलने की संभावना अधिक होती है। ऐसे में नौतपा में शादी, मुंडन जैसे मांगलिक कार्य नहीं करना चाहिए।

तामसिक भोजन न करें- तामसिक भोजन करने से पेट संबंधी समस्या हो सकती है। इसके अलावा मांस - मदिरा के सेवन से सूर्य कुंडली में कमजोर पड़ जाती है।

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