पुलिस कर रही गैंगस्टर एक्ट का दुरुपयोग: हाईकोर्ट ने मुजफ्फरनगर के डीएम, एसएसपी और एसएचओ को किया तलब
प्रयागराज। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने गैंगस्टर एक्ट के दुरुपयोग सख्त नाराजगी जताई है। कोर्ट ने पुराने मुकदमे में गैंगस्टर एक्ट की कार्रवाई किए जाने पर मुजफ्फरनगर के जिलाधिकारी, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक और संबंधित थाना प्रभारी (एसएचओ) को व्यक्तिगत रूप से अदालत में हाजिर होकर स्पष्टीकरण देने का आदेश दिया।
मंशाद उर्फ सोना की याचिका पर सुनवाई के दौरान न्यायमूर्ति अरुण कुमार सिंह देशवाल की पीठ ने यह आदेश दिया। याचिका की सुनवाई कोर्ट ने आरोपी मंशाद उर्फ सोना को बार-बार गैंगस्टर अधिनियम के तहत जेल में डालने पर नाराजगी जताई। मुजफ्फरनगर के खालापार थाने में अपीलकर्ता पर दर्ज मुकदमे के आधार पर उसके खिलाफ गैंगस्टर की कार्यवाही की गई। वह जेल में बंद है। ट्रायल कोर्ट से जमानत अर्जी खारिज होने पर उसने अपील दाखिल की।
याची के वकील ने दलील दी कि पुराने मामलों के आधार पर बार-बार गैंगस्टर एक्ट लगाना मनमाना है। यह कानून की प्रक्रिया का उल्लंघन है। अदालत ने पक्षों को सुनने के बाद कहा कि ऐसा कदम न केवल एसएचओ की मनमानी को दर्शाता है, बल्कि एसएसपी और डीएम की ओर से भी गंभीर लापरवाही और वैधानिक कर्तव्य के प्रति उदासीनता को उजागर करता है।