राज्यसभा में उपराष्ट्रपति ने उठाया ऐतिहासिक कदम, महिलाओं का बनाया पैनल
सभापति या उप सभापति की अनुपस्थिति में नामित सदस्य सदन की अध्यक्षता करने के पात्र होते हैं।
नईदिल्ली। राज्यसभा के सभापति जगदीप धनखड़ ने गुरूवार को ऐतिहासिक कदम उठाते हुए उच्च सदन में उप सभापति का एक पूर्ण महिला पैनल गठित किया। सदन में 'नारी शक्ति वंदन अधिनियम 2023' पर चल रही चर्चा के बीच गुरूवार के लिए पैनल में 13 महिला सदस्यों को नामांकित किया गया।
सभापति या उप सभापति की अनुपस्थिति में नामित सदस्य सदन की अध्यक्षता करने के पात्र होते हैं। देश के उपराष्ट्रपति उच्च सदन के सभापति होते हैं जबकि उप सभापति का चयन या चुनाव किया जाता है। वर्तमान में हरिवंश नारायण सिंह राज्यसभा के उप सभापति हैं। इन दोनों की अनुपस्थिति में सदन के नामांकित सदस्यों को आसन पर बैठाया जाता है। गुरूवार को ‘नारी शक्ति वंदन अधिनियम 2023’ पर चल रही चर्चा के लिए सभापति जगदीप धनखड़ ने केवल महिलाओं को नामित किया। ऐसा करते हुए धनखड़ ने कहा कि सदन के आसन पर महिला सदस्यों की उपस्थिति दुनिया को एक शक्तिशाली संदेश देगी और यह इस बात का प्रतीक होगी कि परिवर्तन के इस युगांतरकारी क्षण के दौरान वे एक 'कमांडरिंग पोजीशन' पर थीं।
ये सदस्य शामिल -
उप सभापति के पैनल में नामांकित महिला राज्यसभा सदस्यों में पी.टी. उषा, एस. फांगनोन कोन्याक, जया बच्चन, सरोज पांडे, रजनी अशोकराव पाटिल, डॉ. फौजिया खान, डोला सेन, इंदु बाला गोस्वामी, डॉ. कनिमोझी एनवीएन सोमू, कविता पाटीदार, महुआ माजी, डॉ. कल्पना सैनी और सुलता देव को शामिल किया गया है। ये सभी महिलाएं गुरूवार को सदन की कार्यवाही के दौरान बारी बारी से उच्च सदन के शीर्ष आसन पर विराजमान होंगी और सदन की में चर्चा को संचालित करेंगी।