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मिर्जापुर एवं प्रयागराज में टॉस कर विजयी घोषित हुए प्रत्याशी

प्रदेश में सबसे पहले चंदौली से नतीजा आया। इसके बाद से अलग-अलग जिलों से भी परिणाम आने लगे हैं। वैसे बैलेट पेपरों की गिनती का समय शाम को छह बजे तक के लिए निर्धारित है। परिणाम देर रात तक अथवा सोमवार सुबह तक आने की संभावना है।

Update: 2021-05-02 15:28 GMT

लखनऊ: कोरोना वायरस के संक्रमण काल में हुए त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के बाद रविवार देर रात तक प्रदेश के 829 केंद्रों पर वोटों की गिनती जारी है। सुप्रीम कोर्ट से शनिवार को हरी झंडी मिलने के बाद जिला, क्षेत्र और ग्राम पंचायत सदस्यों के अलावा ग्राम प्रधान पदों के 12,89,830 उम्मीदवारों के भाग्य का फैसला होना है। प्रदेश में सबसे पहले चंदौली से नतीजा आया। इसके बाद से अलग-अलग जिलों से भी परिणाम आने लगे हैं। वैसे बैलेट पेपरों की गिनती का समय शाम को छह बजे तक के लिए निर्धारित है। परिणाम देर रात तक अथवा सोमवार सुबह तक आने की संभावना है।

मिर्जापुर के कोन ब्लॉक में शशि मिलन यादव बने टॉस से बॉस: उत्तर प्रदेश में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में कई जगह ग्राम प्रधान के चयन में कांटे के संघर्ष में एक या दो वोट से जीत तथा हार तय हुई है। इनके बीच ही मिर्जापुर में विलक्षण प्रकरण सामने आया है। यहां पर तो लाटरी से प्रधान चुना गया है। कोन ब्लॉक के मिश्रधाप ग्राम पंचायत में प्रधान पद का फैसला लाटरी से हुआ। दो प्रत्याशी अजय मिश्रा और शशि मिलन यादव को बराबर 161-161 वोट मिले। इसके बाद रिटर्निंग अफसर ने सभी की राय से पर्ची निकलवाकर फैसला किया। अजय मिश्रा और शशि मिलन यादव की मौजूदगी में कृपाल सिंह ने लाटरी की पर्ची निकाली। इसमें शशि मिलन यादव की किस्मत बुलंद थी और उनको प्रधान निर्वाचित घोषित किया गया।

प्रयागराज में दो प्रत्याशियों को मिले बराबर वोट : प्रयागराज में भी एक सीट पर मत बराबर हो गया। इसके बाद टॉस का सहारा लिया गया। टॉस में जीते भुंवरलाल को विजयी घोषित कर ग्राम प्रधान का सर्टिफिकेट दे दिया गया। प्रयागराज में सोरांव के करौदी गांव सभा यूपी का पहला ऐसा रिजल्ट दे गया जहां टॉस का सहारा लेना पड़ा। यहां राजबहादुर और भुंवरलाल दोनों को 170 मत मिले। इसके बाद आरओ सुरेश चंद्र यादव ने टॉस कराया। भुंवरलाल टॉस जीतकर करौंदी के प्रधान बन गए।

सैफई में पहली बार मतदान, दलित बना प्रधान : समाजवादी पार्टी के संस्थापक अध्यक्ष और सरंक्षक मुलायम सिंह यादव के गांव इटावा के सैफई में आजादी के बाद पहली बार मतदान हुआ। इससे पहले मुलायम सिंह यादव के दोस्त दर्शन सिंह यादव निर्विरोध प्रधान बनते थे। इस बार सीट आरक्षित थी और मुलायम सिंह यादव के समर्थित रामफल वाल्मीकि ने एकतरफा जीत दर्ज की। यहां पर 1971 से मुलायम के दोस्त दर्शन सिंह यादव लगातार सैफई गांव के प्रधान निर्वाचित होते रहे। बीते वर्ष 17 अक्टूबर को उनके निधन के बाद यह सीट रिक्त हो गई थी। सैफई में 50 साल बाद मतदान हुआ और पहली दफा दलित जाति का कोई प्रधान बना है। रामफल की जीत कितनी बड़ी रही, इसका अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि रामफल बाल्मीकि को 3877 मत मिले, जबकि विरोधी विनीता नामक महिला को मात्र 15 वोट मिले। इससे पहले कभी भी सैफई में मतदान नहीं हुआ था। प्रधान पद का चुनाव निॢवरोध निर्वाचन होता था। आजादी के बाद पहली बार कोई दलित मुलायम सिंह यादव के गांव में प्रधान बना है। इसा बार पंचायत चुनाव में सैफई गांव की सामान्य सीट को प्रधान पद को अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित कर दिया गया। इसके बाद भी मुलायम सिंह के अपनी ताकत का एहसास कराया है।

मैनपुरी में पिंकी देवी को मौत के बाद मिली प्रधानी : देश के साथ उत्तर प्रदेश में कोरोना वायरस संक्रमण के बीच में सम्पन्न पंचायत चुनाव के आज परिणाम आ रहे हैं। ऐसे में मैनपुरी के एक परिवार के लिए यह बेहद दुखद क्षण है। यहां पर कुरावली ब्लाक की ग्रामसभा नगला ऊसर से पिंकी देवी ने 115 वोटों से ग्राम प्रधान का चुनाव जीत लिया है। उन्होंने निवर्तमान प्रधान चंद्रावती को हराया है। पंचायत चुनाव के दौरान ही पिंकी बीमार हो गईं। इस दौरान उनको अस्पताल में भर्ती कराया गया। जहां पर उनकी इलाज के दौरान मौत हो गयी थी। अब ग्रामसभा नगला ऊसर में पुन: चुनाव होगा।

कानपुर से किन्नर काजल किरण ग्राम प्रधान निर्वाचित : उत्तर प्रदेश के त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में कानपुर नगर के बिधनू ब्लाक में किन्नर काजल किरन ने ग्राम प्रधान के पद पर जीत दर्ज की है। बिधनू विकास खंड के सेन पश्चिम पारा ग्रामपंचायत से किन्नर लालमण काजल किरन प्रधान पद के लिए जीत दर्ज कराकर गांव की राजनीति में झंडा फहरा दिया। उन्होंने गुड़िया देवी को 185 मतों से हराकर जीत हासिल की। शहर में राजनीति करने के दौरान  काजल किरन नौबस्ता पशुपति नगर वार्ड 48 से पार्षद रह चुकी है। उन्होंने महाराजपुर विधानसभा से निर्दलीय विधायक उम्मीदवार के रूप में भाग्य भी अजमा चुकी हैं।

बाराबंकी में महिलाओं ने बाजी मारी : प्रदेश में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव के परिणाम आ रहे हैं। 75 जिलों में मतगणना जारी है। पहले ग्राम प्रधानों के परिणाम आ रहे हैं। राजधानी लखनऊ से सटे बाराबंकी में महिलाओं के पक्ष में अधिक नतीजे आ रहे हैं। यहां पर चार घंटे की मतगणना में ग्राम प्रधान पद पर जीत के परिणाम आने लगे हैं। अब तक के परिणाम में आधी आबादी का पलड़ा भारी है।

पूरेडलई ब्लाक के अजईमऊ में रीता सिंह तथा इटहुवा पूरब में प्रभुदेई विजयी हुई हैं। अरसंडा मे सुनीता ने प्रतिद्वंद्वी सुषमा को 14 मत से हराया है। कूढा ग्राम पंचायत में कैलाशा ने जीत हासिल की है। त्रिवेदीगंज के नरेंद्रपुर मदरहा में मीरा त्रिपाठी पत्नी रामकृष्ण त्रिपाठी 151 मतों से विजयी हुई। इसी तरह वे सिरौलीगौसपुर के भैसुरिया ग्राम पंचायत से आशा कुमारी पत्नी हरिनाथ सिंह 29 वोट से जीती हैं। करोरा ग्राम पंचायत रिंकी देवी 37 मत से जीती हैं। 

चंदौली में सिर्फ दो वोट से जीते ओमप्रकाश : उत्तर प्रदेश को तीन प्रदेश के जोड़ने वाले चंदौली जीते में प्रधान पद के लिए काफी कांटे के संघर्ष में एक प्रत्याशी ने सिर्फ दो वोट से जीत दर्ज की। चंदौली की चकिया ब्लाक की ग्राम सभा इसहुल का परिणाम सबसे पहले आया। यहां पर प्रधान पद के प्रत्याशी ओमप्रकाश 470 मत प्राप्त कर दो वोट से जीते। उन्होंने निकटतम प्रत्याशी चंदन को हराया। चंदन को 468 मत मिले।

रायबरेली में गुड्डी देवी व सुमित्रा विजयी: रायबरेली में ग्राम पंचायत प्रतिनिधि (बीडीसी) पद के दो नतीजे आए हैं। यहां पर पचखरा गुड्डी देवी विजयी हुईं। इन्हेंं कुल 583 मत मिले। इन्होंने 239 वोट पाने वाली अंतिमा को हराया है। ऊंचाहार के हटवा ग्राम सभा में सुमित्रा विजयी ने 690 मत पाकर सरिता देवी को हराया है। इसी तरह निगोहां में प्रधान पद के प्रत्याशी आशीष तिवारी ने जीत दर्ज की है।

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