SwadeshSwadesh

"या देवी सर्वभूतेषु शक्ति रूपेण" के साथ शुरू हुए नवरात्र, दो साल मन्दिरों में उमड़े भक्त

पहले दिन माँ शैलपुत्री का हुआ पूजन

Update: 2022-04-02 08:02 GMT

नईदिल्ली। चैत्र मास के नवरात्रों के साथ ही विक्रमी संवत 2079 की भी शुरुआत हो गई है। हिंदू पंचांग के अनुसार आज से नव संवत की शुरुआत अर्थात नये वर्ष की शुरुआत हुई है। कलश स्थापना के साथ ही शक्ति की आराधना का नौ दिवसीय वासंतिक नवरात्र शुरू हो गया  अगले नौ दिनोंं तक श्रद्धालु अपने घरों में दुर्गा सप्तशती, दुर्गा सहस्त्र नाम, रामचरित मानस, सुंदरकांड, अर्गला, कवच, कील आदि का पाठ करेंगे। बे

इस अवसर पर कहीं दुर्गा सप्तशती का पाठ हो रहा तो कहीं रामायण पाठ की शुरूआत भी की गई। गांव सेे लेकर शहर तक हर गली मोहल्ला ''या देवी सर्वभूतेषु शक्ति रूपेण संस्थिता...'' सहित मां दुर्गा के मंत्रों से गुंजायमान हो उठा है। जिले के तमााम मंदिरों में श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ पड़ी, कलश स्थापना के साथ ही मां भगवती के प्रथम स्वरूप शांति और उत्साह देकर भय का नाश करने वाली मां शैलपुत्री की पूजा-अर्चना की गई। पर्वतराज हिमालय की पुत्री माता शैलपुत्री का जन्म शैल-पत्थर से हुआ था, मान्यता है कि नवरात्रि के दिन मां शैलपुत्री की पूजा करने से जीवन में स्थिरता आती है। 

कोरोना काल के बाद यह पहला मौका है जब नवरात्रों में श्रद्धालु पहले की तरह माता के दरबार में नतमस्तक हो रहे हैं। कोरोना को लेकर लगाई गई लगभग सभी पाबंदियां अब समाप्त हो चुकी हैं। मंदिरों के बाहर सुरक्षा की दृष्टि से पुलिस बल को भी तैनात किया गया है।हरियाणा के पंचकूला स्थित ऐतिहासिक शक्ति पीठ माता मनसा देवी में सुबह से ही श्रद्धालुओं का आवागमन जारी है। हरियाणा विधानसभा के स्पीकर ज्ञान चंद गुप्ता ने मनसा देवी पहुंचकर पूजा-अर्चना की।

अंबाला कैंट के हिल रोड स्थित प्राचीन कालीबाड़ी मंदिर गौरवमयी विरासत सजोए हुए है। मंदिर की स्थापना वर्ष 1870 में फुटबाल खिलाड़ी एसडी चटर्जी के पिता उषा नाथ चटर्जी ने की थी। मंदिर में अब चटर्जी परिवार की चौथी पीढ़ी मंदिर में पूजा-अर्चना की व्यवस्था संभाल रही है। इस मंदिर में भी श्रद्धालु आज सुबह से पूजा के लिए आ रहे हैं

Tags:    

Similar News