SwadeshSwadesh

बेहतर रैंकिंग की चाह लेकिन शहर की सड़कों में गड्ढे और सीवर जाम से जनता परेशान

शहरवासियों से बेहतर रैंकिंग की चाह रहे अधिकारी

Update: 2020-01-05 00:30 GMT

ग्वालियर,न.सं.। शहर में जगह-जगह सीवरेज जाम, सडक़ों पर गड्ढे, कॉलोनियों और सडक़ों किनारे गंदगी के ढेर, कचरा प्लांट पर कूड़ा निस्तारण की उचित व्यवस्था नहीं, फुटपाथ पर पौधारोपण भी नहीं। फिर भी नगर निगम चाहता है कि आमजन स्वच्छता सर्वेक्षण के तहत आने वाले दल को अच्छी प्रतिक्रिया दे।ताकि स्वच्छता सर्वेक्षण में अच्छे अंक हाासिल कर सके। शहर में अभी भी आवारा पशु सडक़ों पर घूम रहे हैं जो गंदगी फैलाते हैं। स्वच्छता सर्वेक्षण 4 से 31 जनवरी तक किया जाना है जो शनिवार से शुरू हो चुका है। अब सर्वेक्षण टीम कभी भी शहर में गुपचुप तरीके से दस्तक दे सकती है। इस सर्वेक्षण को लेकर नगर निगम के अधिकारियों व कर्मचारियों में शंका भी है कि कितने अंक मिलेंगे और अच्छे अंक कैसे हासिल किए जा सकते हैं। सर्वेक्षण को लेकर निगम ने तैयारियां शुरू कर दी है। शहर में नगर निगम की व्यवस्था लचर है। जहां एक ओर कई शहरी कॉलोनियां ऐसी भी हैं जहां नियमित सफाई नहीं होती, सडक़ों पर गड्ढे ही गड्ढे हैं। कई क्षेत्र ऐसे हैं जहां स्ट्रीट लाइट खराब रहती है और खुले में कूड़ा नजर आता है। शहरवासियों की शिकायत के बावजूद समस्या का समाधान नहीं हो पाता। इसके बावजूद नगर निगम चाहता है कि शहरवासी दिल्ली से आने वाले दल को अच्छी प्रतिक्रिया दें। शहर में जगह-जगह सीवरेज जाम की स्थिति का सामना शहरवाासियों को करना पड़ रहा है।

डोर-टू-डोर कचरा एकत्रीकरण को लेकर भी समस्या बरकरार

आवश्यक शर्त है और नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल यानी एनजीटी के आदेश भी हैं कि सूखा, गीला और डेंजर कूड़ा अलग-अलग डोर-टू-डोर से ही न केवल एकत्र किया जाए बल्कि ट्रांसफर स्टेशन के बाद लैंडफिल साइट तक भी अलग-अलग ही पहुंचाया जाए लेकिन कूड़ा ट्रांसफर प्वाइंट पर पहुंचते ही कचरा मिश्रित हो जाता है।

20 साल पहले डली पाइप लाइन हो चुकी जर्जर

शहरी क्षेत्र में कई जगह सीवरेज जाम है। इसका मुख्य कारण ये है कि पुरानी आबादी के समय करीब 15 से 20 साल पहले पाइपलाइन डाली गई थी। लेकिन अब आबादी बढ़ चुकी है और इस कारण प्रतिदिन सीवरेज जाम की समस्या का सामना शहरवासियों को करना पड़ रहा है। शहर के मुरार क्षेत्र में सीवरेज जाम की समस्या को लेकर शहरवासी रोड जाम भी कर चुके है। इसके अलावा शहर की विभिन्न सडक़ों पर गड्ढे हैं। इसका मुख्य कारण ये है कि सडक़ों पर बरसाती पानी ठहरता है और पानी निकासी का भी समुचित प्रबंध नहीं है।

हर वार्ड में समस्या

शहर के वार्ड 27 के अंतर्गत सीवर समस्या आम हो चुकी है। साथ ही वार्ड में भैंसों के तबले बने होने के कारण आए दिन सीवर जाम होती है। इसको लेकर क्षेत्रीय पार्षद बृजेश गुप्ता ने कई बार निगम अधिकारियों को सूचना दी, लेकिन उसके बाद भी समस्या का समय पर निराकरण नहीं होता।

Tags:    

Similar News