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'पढ़े लखनऊ-बढ़े लखनऊ' अभियान के तहत बना नया विश्व रिकार्ड

Update: 2019-10-01 09:02 GMT

लखनऊ। उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन के निर्देश पर 'पढ़े लखनऊ-बढ़े लखनऊ' अभियान के तहत डा.एपीजे अब्दुल कलाम प्राविधिक विश्वविद्यालय, लखनऊ विश्वविद्यालय ​सहित सैकड़ों स्कूलों, मदरसों, कालेजों के 10 लाख 30 हजार छात्र-छात्राओं ने मंगलवार को एक साथ पुस्तकें पढ़कर एक नया विश्व रिकार्ड बनाया है। यह रिकार्ड पूर्वाह्न 11 से 11:45 के मध्य एक साथ 10 लाख,30 हजार विद्यार्थी किताब पढ़कर बनाये।

'पढ़े लखनऊ-बढ़े लखनऊ' अभियान में छात्र-छात्राओं ने एक साथ पढ़ने के लिए महात्मा गांधी की पुस्तकों को सबसे ज्यादा पसंद किया। गांधी जी पर लिखी गयी पुस्तकों के अलावा स्वतंत्रता संग्राम के दौरान हुई घटनाओं, आजादी की लड़ाई में लड़ने वाले क्रांतिकारियों की भी पुस्तकें छात्र-छात्राओं की पसंद बनी। अधिकांश शिक्षण संस्थानों की तरफ से ही उन्हें पुस्तकें दी गई थीं।

उल्लेखनीय है कि इस मिशन के तहत युवाओं में किताब पढ़ने की रुचि पैदा करने का प्रयास किया जा रहा है। इसमें बेसिक शिक्षा, माध्यमिक शिक्षा विभाग के स्कूलों, डिग्री कॉलेजों और विश्वविद्यालयों, इंजीनियरिंग संस्थानों व मदरसा बोर्ड के दस लाख से अधिक छात्र-छात्राएं शामिल हुये।

लखनऊ विश्वविद्यालय के प्रो.एन.के. पाण्डेय कहा कि इस अभियान को लेकर लखनऊ विश्वविद्यालय समेत सभी शै​क्षणिक संस्थानों के शिक्षकों, छात्रों और अधिकारियों में गजब का उत्साह देखने को मिला। सभी ने इस अभियान की तारीफ की और कहा कि इस तरह से एक साथ मिलकर ही किसी अभियान को मजबूत किया जा सकता है। 'पढ़े लखनऊ-बढ़े लखनऊ' अभियान अच्छी पहल है। इसके लिए सभी शिक्षण संस्थाओं को उनके स्थान पर ही अभियान में शामिल होने दिया गया। यह बेहतर रहा और इससे सभी शिक्षा ग्रहण करने वाले छोटे उम्र के हों या बड़े उम्र के इसमें शामिल हो सकें।

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