CG News: ग्रामीणों ने शुरू की रपटों का मरम्मत कार्य, पांच नालों पर पुल निर्माण की मंजूरी लेकिन काम शुरू नहीं
Gariaband Villagers Are Repairing Damaged Bridges : छत्तीसगढ़। गरियाबंद में प्रशासन की लापरवाही के कारण स्थानीय ग्रामीणों ने स्वयं पहल करते हुए क्षतिग्रस्त रपटों की मरम्मत का कार्य शुरू किया है। राजापड़ाव-शोभा मार्ग पर मौजूद पांच बरसाती नालों में से दो क्षतिग्रस्त रपटों का सुधार कार्य श्रमदान के माध्यम से किया जा रहा है।
जानकारी के मुताबिक, बाघ नाला रपटे पर गरहाडीह पंचायत के लगभग 100 युवाओं ने दूसरे दिन कार्य किया। उन्होंने 2.5 मीटर चौड़ी और 4 मीटर लंबी स्लैब की ढलाई पूरी की, जिसकी मोटाई 10 इंच से अधिक रखी गई। इससे पहले गौर गांव के युवाओं ने भी समान आकार की स्लैब की ढलाई की थी। वहीं, शोभा नाला रपटे की मरम्मत का कार्य शोभा गांव के युवाओं ने सुबह में पूरा कर लिया।
आठ पंचायतों का संयुक्त प्रयास
इस पहल का नेतृत्व अंबेडकर वादी युवा संगठन ने किया है। संगठन के पदाधिकारियों ने बताया कि दोनों रपटों की मरम्मत में श्रम को छोड़कर लगभग 5 लाख रुपये की सामग्री का उपयोग हो रहा है। आठ पंचायतों के लोगों ने बैठक के बाद यह निर्णय लिया। सामग्री का हिसाब-किताब रखने के लिए एक व्हाट्सएप ग्रुप बनाया गया है।
स्थानीय सरपंच, जिला पंचायत सदस्य, पंचायत प्रतिनिधि, युवा, छोटे व्यवसायी और वाहन मालिकों ने मिलकर निर्माण लागत जुटाई है। सोमवार को कोकड़ी और गोना पंचायत के युवा भी इस मरम्मत कार्य में शामिल होंगे। जिला पंचायत सदस्य ने बताया कि भूख हड़ताल के बाद मरम्मत की मंजूरी का वादा झूठा साबित हुआ।
बरसात में हादसों का खतरा
पूर्व जनपद सदस्य श्रीराम मरकाम, गौतम मंडावी और सरपंच शंकर नेताम ने बताया कि रपटों के क्षतिग्रस्त होने के कारण 2021 में कोकड़ी पंचायत के आश्रित पारा डूमरबुडरा निवासी रामनाथ और उनकी पत्नी सुगनतीन बाढ़ में बह गए थे।
2022 के बाद हर साल बरसात में स्कूली बच्चों के बह जाने की 4-5 घटनाएं और 15 से अधिक बाइक सवारों के दुर्घटनाग्रस्त होने की घटनाएं सामने आई हैं। बार-बार मरम्मत की मांग के बावजूद कोई सुधार न होने पर ग्रामीणों ने जन सहयोग से मरम्मत का निर्णय लिया।
भूख हड़ताल का भी कोई असर नहीं
जिला पंचायत सदस्य संजय नेताम ने कहा कि एक सप्ताह पहले 10 सूत्रीय मांगों को लेकर भूख हड़ताल की गई थी, जिसमें क्षतिग्रस्त रपटों की मरम्मत भी शामिल थी। मैनपुर एसडीएम ने जिला प्रशासन की ओर से दो रपटों की मरम्मत के लिए राशि मंजूर होने की बात कही थी, लेकिन कार्य शुरू नहीं हुआ। शाला प्रवेश उत्सव को देखते हुए ग्रामीणों ने आपसी सहयोग से मरम्मत शुरू की।
पांच नालों पर पुल निर्माण की मंजूरी
प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना विभाग के एसडीओ कमलेश चंद्राकर ने बताया कि अड़गड़ी नाला पर 2.31 करोड़ और जरहीडीह नाला पर 2.26 करोड़ रुपये की लागत से उच्च स्तरीय पुलिया निर्माण की मंजूरी मिल चुकी है। पीडब्ल्यूडी ने कार्य का अनुबंध कर लिया है।
साल 2023 में शोभा नाला के लिए 3.33 करोड़ और बाघ नाला के लिए 2.41 करोड़ रुपये की प्रशासकीय मंजूरी मिली थी। गरहा बाघ नाला के लिए 3.47 करोड़ रुपये की मंजूरी 2021 में मिल चुकी है। नौवीं बार टेंडर आमंत्रित किया गया है। इन तीनों कार्यों की जिम्मेदारी पीडब्ल्यूडी की सेतु शाखा के पास है। रपटों को संबंधित विभागों को सौंप दिया गया है, इसलिए मरम्मत का प्रावधान विभाग द्वारा नहीं किया गया।