हिंसक प्रदर्शन के बाद सीलमपुर में हालात सामान्य, प्रदर्शनकारियों पर दर्ज हुए मामले
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नई दिल्ली। नागरिकता संशोधन कानून (सीएए) के विरोध में मंगलवार दिल्ली के यमुनापार इलाके, सीलमपुर व जाफराबाद में हुए बवाल के बाद बुधवार सुबह से हालात सामान्य हो रहे हैं। इलाके के बाजार खुल गए हैं और सड़कों पर आम दिनों की तरह यातायात और चहल-पहल शुरू हो गई है। खास बात है कि मंगलवार को पुलिस के जिन दो बूथों को आग के हवाले किया गया था, उनकी सफाई करते नजर आए स्थानीय नागरिक।
बुधवार सुबह से स्थानीय लोग बूथ को साफ करते हुए पुलिस के काम में ,जैसे बेरिकेड वैगरह को एक जगह से दूसरी जगह शिफ्ट करने में मदद करते हुए दिखाई दिए, तो दूसरी तरफ इलाके के अमन कमेटी के पदाधिकारी व सदस्य पुलिस टीम के साथ इलाके के विभिन्न जगहों, बाजारों व मोहल्लों में जाकर लोगों से शांति व्यवस्था बनाए रखने और अमन चैन की अपील करते हुए दिखाई दि। हालांकि स्थानीय लोग बार-बार यह कह रहे थे कि हिंसा में इलाके के लोग शामिल नहीं, बल्कि इसमें कुछ बाहरी उपद्रवियों का हाथ है।
मंगलवार हुए पथराव, तोड़फोड़ व आगजनी की घटना में 11 पुलिसकर्मी और 7 आम लोगों समेत कुल 18 लोग घायल हो गए थे। सभी घायलों को गुरुतेग बहादुर (जीटीबी) अस्पताल और जगप्रवेश चंद्र अस्पताल में भर्ती कराया गया था। घायलों में से दो की हालत गंभीर बताई जा रही है। इनमें एक पुलिसकर्मी और एक प्रदर्शन करने वाला शख्स शामिल हैं। दोनों का इलाज चल रहा है।
मेट्रो की आवाजाही भी सामान्य हुई
उधर दिल्ली के सीलमपुर व जाफराबाद में हुए हिंसक प्रदर्शन के बाद एहतियातन मौजपुर और जाफराबाद मेट्रो स्टेशन को बंद कर दिया गया था, लेकिन बाद में यहां भी आवाजाही सामान्य हो गई। शिव विहार मेट्रो जाने के लिए इंटरचेंज सुविधा मौजपुर में उपलब्ध है। इसके अलावा बाकी मेट्रो स्टेशन पर संचालन ठीक ढंग से चल रहा है।
इन धाराओं के तहत दर्ज हुआ मामला
सरकारी काम में बाधा, सरकारी कर्मचारी पर हमला, सरकारी संपत्ति को नुकसान पहुंचाने का, सरकारी कर्मचारी पर हमला करने का, दंगे भड़काने के आरोप में 147,148,149,186,332,353 और सेक्शन 3 और 4 पब्लिक प्रॉपर्टी को नुकसान पहुंचाने की धाराओं केह तहत केस दर्ज किया गया है।
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