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दस साल बाद फिर आमने-सामने होंगे सीमा और राजबब्बर

Update: 2019-01-30 17:26 GMT

आगरा। दस साल पहले जिन योद्धाओं ने एक दूसरे को कड़ी टक्कर दी थी। एक बार फिर वे आमने सामने होंगे। साल 2009 में बाजी बसपा की सीमा उपाध्याय के हाथ लगी थी और कांग्रेस के वर्तमान प्रदेश अध्यक्ष राजबब्बर को हार का सामना करना पड़ा था, लेकिन इस बार कांग्रेस एक नए बदलाव के साथ मैदान में है। राजबब्बर ने ऐलान किया है कि वे फतेहपुरसीकरी से चुनाव लडऩे की अपनी मंशा अध्यक्ष राहुल गांधी को जता चुके हैं। ऐसे में इस पर दो प्रत्याशी तय हैं, लेकिन अभी भाजपा से स्थिति स्पष्ट नहीं है।

विगत दिनों आगरा में आए कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष राज बब्बर ने कहा था कि सीकरी की जनता के बीच फिर से चुनाव मैदान में लौटूंगा। अब यह यहां के लोगों पर निर्भर करता है। इन्होंने मुझे सांसद बनाया तो क्षेत्र के लिए काम करने का यह सपना पूरा होगा। उनके इस बयान के बाद राजनीतिक सरगर्मियां तेज हो गईं। बसपा से यहां पूर्व सांसद सीमा उपाध्याय चुनाव प्रचार में जुटी हुई हैं। उन्हें बसपा ने प्रभारी बनाया है। ऐसे में टक्कर एक बार फिर से राजबब्बर और सीमा उपाध्याय में देखने को मिल सकती है। ऐसा राजनीतिक पंडित मान रहे हैं। बता दें कि 2009 के चुनाव में इस सीट पर कड़ा मुकाबला था यहां से बसपा की टिकट पर पूर्व मंत्री रामवीर उपाध्याय की पत्नी को पहलीबार लोकसभा से टिकट मिला था। 2,09,466 वोट प्राप्त कर उन्होंने कांग्रेस के राजबब्बर को हराया था। राजबब्बर को 1,99,530 वोट मिले थे।

वहीं तीसरे स्थान पर भाजपा के राजा महेंद्र अरिदमन सिंह 1,54,373 थे। समाजवादी पार्टी के रघुराज सिंह शाक्य को 1,09,240 वोट मिले थे। भाजपा इस सीट पर 2009 में तीसरे स्थान पर थी, लेकिन 2014 में यहां मुकाबला बदल गया था। भाजपा के प्रत्याशी चौधरी बाबूलाल ने 4,26,589 वोट प्राप्त कर सभी को चौंकाया था। इस चुनाव में बसपा से सीमा उपाध्याय को 2,53,483 वोट मिले थे। वहीं समाजवादी पार्टी की रानी पक्षालिका सिंह ने 2,13,397 मत प्राप्त किए थे। रालोद से अमर सिंह को यहां 24,185 मत प्राप्त हो सके थे।






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