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द्रमुक एक अलगाववादी पार्टी, पाकिस्तानी एजेंडे को दे रही बढ़ावा - मरिदास आंसर्स

पाकिस्तान से संबंध होने के लगे आरोपों से घिरी द्रमुक ने यूट्यूबर के खिलाफ मामला दर्ज कराया

Update: 2019-08-27 12:24 GMT

 मदुरई/स्वदेश वेब डेस्क। तमिलनाडू के मदुरई निवासी इंजीनियरिंग में पोस्ट-ग्रेजुएट मरिदास सोशल मीडिया एक्टिविस्ट हैं, जिनके वीडियो महत्वपूर्ण तथ्यों, डेटा और आँकड़े पर आधारित रहते है जो ध्यान आकर्षित करते हैं।  दरअसल एक्टिविस्ट मरिदास ने हाल ही में अपने यूट्यूब चैनल - 'मरिदास आंसर्स' पर तमिलनाडु के प्रमुख पार्टी डीएमके से जुड़े एक वीडियो 24, अगस्त रविवार को  "क्या पाकिस्तान से डीएमके प्रभावित है?" शीर्षक से प्रकाशित किया। इसमें दीं गयी जानकारियों और डीएमके से जुड़े तथ्य सामने आने के बाद वीडियो ने अथाह सुर्खियाँ बटोरीं और राजनीति में हडकंप मच गया है।   


वीडियो में, मारिदास का दावा है कि द्रमुक के राष्ट्र-विरोधी तत्व तमिलनाडु में पैर जमाने की कोशिश कर रहे हैं। उन्होंने यह भी सवाल किया कि रेडियो पाकिस्तान के आधिकारिक ट्विटर हैंडल ने डीएमके नेता एमके स्टालिन के एक ट्वीट को क्यों साझा किया? जहां उन्होंने जंतर-मंतर पर एक विरोध प्रदर्शन की घोषणा की थी, जिसमें जम्मू-कश्मीर के विशेष दर्जे को भंग करने के बाद सरकार द्वारा हिरासत में लिए गए कश्मीरी राजनीतिक नेताओं को तत्काल रिहा करने की मांग की गई।  अपने वीडियो में आरोप लगाया कि द्रमुक एक अलगाववादी और राष्ट्र विरोधी पार्टी है जो पाकिस्तान के एजेंडे को बढ़ावा दे रही है। और दावा है कि डीएमके पर प्रतिबंध के लिए देशव्यापी आह्वान है। बीस मिनट के वीडियो में यह भी कहा की  "DMK हमेशा पाकिस्तान के संपर्क में रही है और एक अलगाववादी पार्टी है।" मरिदास कहते हैं, "DMK के प्रतिबंध के लिए अब भारत में एक आवाज उठाई गई है। अगर आप देशभक्त हैं तो आप यहां रह सकते हैं, यदि नहीं, तो छोड़ दें।"

मरिदास का पिछला वीडियो "क्या डीएमके पर प्रतिबंध लगा दिया जाना चाहिए?" भी अनुच्छेद 370 पर केंद्र के जम्मू-कश्मीर के कदम के बाद के घटनाक्रम पर आधारित था। डीएमके की आलोचना करने के अलावा, मरिदास ने उन नेताओं के खिलाफ वीडियो भी प्रकाशित किए हैं, जिन्होंने तमिल राष्ट्रवाद और बहिष्कार के पक्ष में बात की है और NEET से लेकर पानी की किल्लत से लेकर अर्थशास्त्र तक के विषयों पर अपने बिग बॉस से चर्चा की है।

इसके अलावा 12 अगस्त को कश्मीर में धारा 370 पर रिपब्लिक टीवी के प्रधान संपादक अर्नब गोस्वामी द्वारा आयोजित एक परिचर्चा में, डीएमके प्रवक्ता सरवनन ने कहा था कि "कश्मीर कभी भी भारत का अभिन्न अंग नहीं था।"

वहीं, DMK राज्यसभा सांसद और शिकायत दर्ज करने वाले आरएस भारती का कहना है, "यह आधारहीन, गलत और असत्य है, सीधे भारतीय दंड संहिता, 1860 की धारा 505 (2) के तहत आता है और यह संज्ञेय अपराध है।"   


 

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