अमेरिका ने ईरान के 'बाहुबली' जनरल को मारा, तेहरान ने दी यूएसए को धमकी - खतरनाक बदला लेंगे
बगदाद। अमेरिका ने एक अप्रत्याशित घटनाक्रम में गुरुवार देर रात इराक की राजधानी बगदाद में हवाई हमला हुआ है। इस हमले में ईरान की इस्लामिक रिवोल्यूशनरी गार्ड के प्रमुख जनरल क़ासिम सुलेमानी सहित सात लोग मारे गए हैं। बताया जाता है कि इस हमले में ईरान समर्थित इराक़ी सैन्य कर्मियों के एक ग्रुप के मुखिया अबू मेहदी अल-मुहादिश भी मारा गया है। यह इराक़ में ईरान समर्थित पापुलर मोबिलाइज़ेशन फ़ोर्स का सर्वेसर्वा था। हालांकि ईरान ने इसकी पुष्टि नहीं की है। उधर, इस ताजा घटनाक्रम के बाद अमेरिकी राष्ट्रपति डोनॉल्ड ट्रम्प ने अमेरिकी फौज को तैयार रहने की हिदायत दी है।
ईरान के सर्वोच्च नेता अयोतुल्लाह अली खमेनई ने ईरानी कुद्स फोर्स कमांडर सुलेमानी की हत्या के लिए अमेरिका की कड़ी निंदा करते हुए सुलेमानी के शौर्य की तारीफ की । उन्होंने कहा कि वह जन्नत चले गए हैं, अपराधियों से खूंखार बदला लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि सुलेमान की हत्या से अमेरिका और इजरायल के खिलाफ ईरान का प्रतिरोध दोगुना हो जाएगा।
मिली जानकारी के अनुसार, सुलेमानी का काफिला बगदाद एयरपोर्ट की ओर बढ़ रहा था। इसी समय अमेरिका ने हवाई हमला कर दिया। इस हमले में पॉप्युलर मोबलाइजेशन फोर्स के डेप्युटी कमांडर अबू मेहदी अल मुहांदिस के भी मारे जाने की खबर है।
ईरान के सरकारी टीवी ने सुलेमानी के मारे जाने की सूचना दे दी है। एक अधिकारी ने बताया कि अल मुहानदिस एक काफिले के साथ सुलेमानी को रिसीव करने पहुंचे थे। बताया जाता है कि सुलेमानी का विमान सीरिया ये लेबनान से यहां पहुंचा ही था। जैसे ही सुलेमानी विमान से उतरे और मुहानदिस उनसे मिल ही रहे थे। इसी दौरान अमेरिका ने मिसाइल दाग दी। इसी दौरान सुलेमानी सहित 8 अधिकारियों की मौत हो गई। एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि सुलेमानी का शव उनकी अंगूठी से पहचाना जा सका।
आपको बता दें कि सुलेमानी को पश्चिम एशिया में ईरानी गतिविधियों को चलाने का प्रमुख रणनीतिकार माना जाता है। सुलेमानी पर सीरिया में अपनी जड़े जमाने और इजरायल में रॉकेट अटैक हमले का आरोपी भी बताया जा रहा है। अमेरिका को लंबे समय से सुलेमानी की तलाश थी।
अमेरिका के हवाई हमले के बाद पश्चिम एशिया में तनाव बढ़ गया है। अमेरिका ने यह हमला ऐसे समय पर किया है जब ईरान समर्थित मिलिशिया ने बगदाद स्थित अमेरिकी दूतावास पर हमला कर दिया था। गत दिनों अमेरिका के वित्त मंत्रालय ने आरोप लगाते हुए कहा था कि विदेशी अभियानों के लिए जिम्मेदार ईरान की रिवॉल्यूशनरी गार्ड्स की एक ईकाई 'कद्स फोर्स' ने कच्चे तेल के माध्यम से असद और उनके लेबनानी सहयोगी हिजबुल्ला का समर्थन किया था।