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जानकारी नहीं है तो बैठक में क्यों आते हो

जीडीए अधिकारी को लगाई जिलाधीश ने फटकार
ग्वालियर। शहर विकास कार्यों की समीक्षा बैठक में बिना तैयारी पहुंचे ग्वालियर विकास प्राधिकरण के अधिकारी यूएस मिश्रा की जमकर खिंचाई हुई। जिलाधीश डॉ. संजय गोयल ने संतोषप्रद जानकारी न मिलने पर उन्हें फटकार लगाई और कहा कि जब आपको जानकारी नहीं है तो बैठक में क्यों आए हैं। हालांकि बाद में प्राधिकरण के अधिकारी ने बताया कि शताब्दीपुरम से मुरैना के लिए बायपास का निर्माण होना है वहीं शताब्दीपुरम में पार्क के लिए जो जमीन चिन्हित की गई है , पैसे की कमी के चलते उसका निर्माण नहीं हो सका।सिक्स लेन की आवश्यकता नहींगांधी रोड मार्ग को चार लेन से छह लेन करने के प्रोजेक्ट को बंद करने का आदेश दिया है। इसके पीछे मुख्य कारण यह बताया गया है कि यहां निकलने वाले वाहनों की संख्या के हिसाब से सड़क मार्ग की चौड़ाई पर्याप्त है। वहीं सड़क चौड़ीकरण के चलते लगभग 250 पेड़ों को काटना पड़ेगा।अब यहां बनेगी फोर लेन सड़कलोक निर्माण विभाग ने गांधी रोड चौराहे से जिलाधीश कार्यालय तक फोर लेन सड़क बनाने का प्रस्ताव दिया जिसे लगभग स्वीकार कर लिया गया है। चूंकि उक्त मार्ग का अधिकांश हिस्सा कई सालों से टूटी-फूटी स्थिति में है, ऐसे में इस मार्ग का निर्माण होते ही आमजन को खासी राहत मिलेगी।प्रोपर्टी का रजिस्टर लेकर आएंजिलाधीश ने बैठक में उपस्थित अन्य विभागों के अधिकारियों से पूछा कि क्या उनके विभाग का कोई कार्यालय कंडम स्थिति में है? यदि है तो वह गृह निर्माण मण्डल को सौंप दे ताकि वह उस पर निर्माण कर सके। इससे विभाग को दो लाभ होंगे । बिना पैसा डाले उन्हें कार्यालय मिल जाएगा। इस पर उन्होंने लोक निर्माण विभाग के अधिकारी को प्रोपर्टी का रजिस्टर लाने के लिए कहा। ताकि कंडम कार्यालयों की जानकारी एकत्रित की जा सके।पहले साल पड़ेगी 70 से 80 करोड़ की जरूरतजेएएच के विकास कार्यों की समीक्षा करते हुए जिलाधीश ने पूछा कि 1000 बिस्तर के अस्पताल के लिए कितने पैसे की आवश्यकता पड़ेगी इस पर जेएएच के अधीक्षक डॉ. सिकरवार ने बताया कि 388.65 करोड़ की लागत से बनने वाले इस अस्पताल के लिये नवीन आर्किटेक्ट का चयन कर संशोधित डीपीआर तैयार कर ली गई है। जिसमें पहले साल में काम करने के लिए लगभग 70 से 80 करोड़ रुपए की आवश्यकता पड़ेगी। उन्होंने बताया कि निर्माण के लिए 9.47 हेक्टेयर भूमि उपलब्ध कराई गई है। इसके साथ ही उन्होंने जेएएच में प्रस्तावित व निर्माणाधीन योजनाओं की जानकारी भी दी।निगमायुक्त के प्रोजेक्टकी हवा निकालीआयुक्त नगर निगम अजय गुप्ता ने ग्वालियर शहर के लिये प्रस्तावित विभिन्न योजनाओं की जानकारी देते हुए बताया कि ग्वालियर शहर के लिये 19 हजार 665 करोड़ रूपए की लागत से पाँच फ्लाई ओव्हर बनाए जाना प्रस्तावित है। वहीं मुरार नदी के जीर्णोद्धार के लिए 332 करोड़ रूपए, रेलवे ओव्हर ब्रिज के निर्माण के लिये 100 करोड़ रूपए, सीवर प्रोजेक्ट के लिये 250 करोड़ रूपए, शहर में सिटी बस प्रोजेक्ट के लिये 55.53 करोड़ रूपए के प्रस्ताव तैयार किए गए हैं। इस पर जिलाधीश ने पूछा कि फ्लाई ओवरों के निर्माण के लिए पैसा कहां से आएगा। जवाब में निगमायुक्त ने कहा कि सेतु निगम इसका वहन करेगा। उनका बात को काटते हुए सेतु निगम के अधिकारी ने बताया कि अभी हाल ही में एक आदेश जारी किया गया है जिसमें यह स्पष्ट किया गया है कि निगम क्षेत्र में बनने वाले सभी फ्लाई ओवर के निर्माण का खर्चा निगम स्वयं उठाएगी। इस पर निगमायुक्त ने कहा कि उक्त जानकारी वह पत्र के माध्यम से निगम कार्यालय में भिजवाएं। वहीं शहर की पेयजल व्यवस्था के संबंध में श्री गुप्ता ने बताया कि तिघरा जलाशय में ग्वालियर शहर के लिये 150 दिन तक निर्वाध पानी की आपूर्ति हेतु जल उपलब्ध है। इसके अलावा नगर निगम द्वारा पहसारी और ककैटो डेमों से भी आपातकालीन स्थिति में पानी की आपूर्ति करने की कार्ययोजना तैयार कर ली गई है। 

Updated : 24 May 2015 12:00 AM GMT
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