2022 तक 5.52 लाख करोड़ से ज्यादा की हो जाएगी फूड सर्विस इंडस्ट्री: फिक्की रिपोर्ट
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नई दिल्ली। साल 2022 तक भारतीय खाद्य सेवा उद्योग को 5,52,000 करोड़ रुपये के मूल्य पर आने की उम्मीद है। अनुमान है कि 2017 के बाद से 28.5% की वृद्धि 77 अरब लेनदेन की होगी। खाद्य पदार्थ उद्योग के प्रदर्शन में 2017-2022 की पांच वर्ष की अवधि के लिए 10% की अनुमानित दर के साथ तेजी का अनुमान है। यह बात देश के अग्रणी कारोबारी संगठन फिक्की की भारतीय खाद्य सेवा उद्योग पर जारी रिपोर्ट में कही गई। रिपोर्ट फिक्की- पीडब्ल्यूसी ने तैयार की है। 'फिक्की - खाद्य सेवा खुदरा उद्योग के बदलते लैंडस्केप' पर पीडब्ल्यूसी रिपोर्ट भी जारी की गई।
पारंपरिक मेनू में नवाचार के कारण खाद्य उद्योग का विकास हो रहा है। बाजार की भोजन प्रयोगात्मक उपभोक्ता को आकर्षित कर रही है। विदेशी कंपनियां स्थानीय भारतीय भोज्य पदार्थों को अपने मेन्यू में शामिल कर रहीं हैं। स्थानीय कंपनियां अब लोगों की डिमांड के चलते अपने मेन्यू में विदेशी स्वाद शुरू कर रही हैं। भारतीय ग्राहकों की भोज्य पदार्थों को लेकर बढ़ती मांग को इस सेक्टर में इंटरनेट के प्रवेश और स्मार्टफोन के बढ़ते उपयोग ने और तेजी दी है।
फिक्की के फूडज़ानिया- 2018 में बात करते हुए फिक्की टास्क फोर्स के अध्यक्ष अनंत वर्मा ने कहा कि भारतीय खाद्य सेवा उद्योग बड़े पैमाने पर विकास के केंद्र में है। उन्होंने कहा कि खाद्य सेवा खुदरा उद्योग के बदलते परिदृश्य बड़े पैमाने पर बदलते उपभोक्ता व्यवहार से प्रेरित है, जो एक दशक से लगातार दो अंकों की वृद्धि के लिए इस क्षेत्र का नेतृत्व कर सकता है। डायजे इंडिया के मुख्य कार्यकारी अधिकारी जगबीर सिंह सिद्धू ने कहा कि खाद्य सेवा उद्योग लाखों नौकरियों के निर्माण से अर्थव्यवस्था में महत्वपूर्ण योगदान देता है। नई तकनीक के साथ उद्योग ने 'डाइनिंग आउट' अनुभवों का चयन करने वाले उपभोक्ताओं के साथ एक आदर्श बदलाव देखा है, जिससे पेय पदार्थ एक महत्वपूर्ण भागीदार बन गया है।
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