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कोरोना के खिलाफ जंग में सार्वजानिक उपक्रम निभा रहें है अहम भूमिका

कोरोना के खिलाफ जंग में सार्वजानिक उपक्रम निभा रहें है अहम भूमिका
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नईदिल्ली। देश भर में कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को नियंत्रित करने में रक्षा क्षेत्र की सार्वजनिक इकाइयां आयुध निर्माणी बोर्ड एवं डीपीएसयू सहयोग कर रहीं है। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने आज वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से कोरोना के खिलाफ लड़ाई में किये जा रहे सहयोग की समीक्षा की।

इस बैठक के दौरान रक्षा मंत्री ने लॉकडाउन के बाद फिर से काम शुरु करने के लिए जरुरी योजना तैयार करने का निर्देश दिये। ताकि लॉकडाउन के बाद दोबारा से उत्पादन कार्य शुरू हो सकें। उन्होंने कहा की लॉकडाउन की वजह से खस्ताहाल हुई अर्थव्यवस्था के पुनरुद्धार में निजी उद्योगों के साथ-साथ डीपीएसयू एवं ओएफबी भी प्रमुख भूमिका निभा सकते हैं। इस बैठक के दौरान रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने इकाइयों द्वारा पीएम केयर्स फंड में 77 करोड़ रुपये दान दिए जाने की सराहना की। दरअसल, यह राशि कर्मचारियों के एक दिन के वेतन और कंपनियों के सीएसआईआर फंड से जुटाई गई है।

कॉन्फ्रेंस के दौरान, बोर्ड ने बताया कि उसके 41 विनिर्माण स्थानों में से किसी में भी पॉजिटिव का कोई मामला सामने नहीं आया है। बोर्ड की ओर से यह जानकारी भी दी गई कि कोविड के खिलाफ लड़ाई में उसकी ओर से 100 से अधिक वेंटिलेटरों की मरम्मत, 12,800 कवर आल सूट का उत्पादन, पीपीई के परीक्षण के लिए स्थानिक मशीनों का विकास, स्थानीय अधिकारियों को 6.35 लाख मास्क की आपूर्ति आदि कार्य किये गए है। बोर्ड ने बताया की देश में 10 स्थानों पर अपने अस्पतालों में 280 आइसोलेशन बेड लगाए हैं। इसके अलावा, एचएएल ने कोविड रोगियों के लिए बेंगलूरु में 93 आइसोलेशन बेड की व्यवस्था भी की है।

बोर्ड ने सार्वजानिक क्षेत्र की कंपनियों द्वारा कोरोना के खिलाफ जंग में किये जा रहे कार्यों कीजानकारी देते हुए बताया की भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड अगले महीने मई में 2,000 और जून में और 18,000 वेन्टीलेटरों का निर्माण करेगी । वहीँ दुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड ने 300 एयरोसोल कैबिनेटों का निर्माण किया है और उनकी विभिन्न अस्पतालों में आपूर्ति की है। साथ ही 56,000 मास्क वितरित किए हैं और प्रवासी मजदूरों को सहायता प्रदान की है।मझगांव डॉ शिपबिल्डर्स लिमिटेड ने मुंबई के नौसेनिक क्वारंटाइन केन्द्र को पाँच लाख रुपये की पीपीई और दवाइयाँ उपलब्ध करवाई हैं और 4,000लीटर सैनिटाइज़र वितरित किया है। भारत डायनामिक्स लिमिटेड (बीडीएल) भी वेंटिलेटर के लिए डिजाइन को अंतिम रूप देने और इसका प्रोटोटाइप बनाने के लिए प्रख्यात वैज्ञानिकों के साथ काम कर रहा है।

बोर्ड ने बताया की नॉन रेड जोन में स्थित ओएफबी और डीपीएसयू की सभी इकाइयां दुबारा शुरू हो चुकी हैं। उन्होंने बताया की लॉकडाउन हटने के बाद उत्पादन में तेजी लाने के लिए तीन शिफ्टों में काम करने और सप्ताह में पांच दिनों की बजाए छह दिन काम करने की योजना बनाई गई है। उन्होंने आगे बताया की लॉकडाउन के बाद सभी इकाइयों में सोशल डिस्टेंसिंग एवं अन्य स्वास्थ्य दिशा निर्देशों का इस दौरान ध्यान रखने के लिए योजना भी तैयार की गई है।

Updated : 29 April 2020 8:20 AM GMT
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स्वदेश डेस्क

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