गोकुल बैराज पर अटक गया है गंगाजल प्रोजेक्ट

♦ यमुना किनारे के लोग गंगा जल के लिए है बेताब ♦ अफसरों की वजह से अटका है मामला
मथुरा। गंगाजल प्रोजेक्ट अब गोकुल बैराज पर अटक गया है। कारब से गोकुल बैराज वाटर ट्रीटमेंट प्लांट तक गंगाजल को पहुंचाने के लिए पाइप लाइन डालनी है, लेकिन यह लाइन बैराज पर गोकुल की ओर पहुंच कर रुक गई है। करीब एक महीने से इंजीनियर तय नहीं कर पा रहे हैं कि बैराज से गंगाजल प्रोजेक्ट की पाइप लाइन को यमुना में किस प्रकार से डाला जाए।
गांव कारब से गोकुल बैराज तक की दूरी करीब 10 किलोमीटर की है। जल निगम की गंगाजल परियोजना इकाई को 31 मार्च तक यह परियोजना पूर्ण करनी थी। लेकिन अधिकारियों ने आगरा गंगाजल पहुंचाने के बाद भी अभी तक मथुरा के लिए काम पूरा नहीं किया है। परियोजना इकाई के अधिकारियों के कार्य की कछुआ गति इसमें अवरोध बनी हुई है। अब तक परियोजना के इंजीनियर यमुना में पाइन लाइन डालने की योजना पर फैसला नहीं कर सके हैं।
गोकुल बैराज से 800 एमएम की पाइप लाइन डालनी हैं। इसके लिए कुछ दिन पूर्व मुख्य अभियंता आरके गर्ग की मौजूदगी में इंजीनियरों की टीम ने बैराज का निरीक्षण भी किया परंतु पाइप लाइन डालने का काम प्रारंभ नहीं हो सका है। जल निगम ने कारब से गोकुल बैराज तक भी पूरी पाइप लाइन डाली है। फिलहाल पाइप लाइन डालने का काम नगला पापड़ी पर चल रहा है। गंगाजल परियोजना इकाई महाप्रबंधक पीयूष पंकज ने बताया कि फिलहाल नगला पापड़ी पर काम चल रहा है। जल्द ही परियोजना के तहत गंगाजल पाइप लाइन का काम पूरा हो जाएगा।
मथुरा को मिलेगा 25 एमएलडी गंगाजल
गंगाजल परियोजना के तहत मथुरा नगरनिगम क्षेत्र को 25 एमएलडी गंगाजल मिलना है। वर्तमान में 12 एमएलडी यमुना जल की आपूर्ति गोकुल बैराज वाटर ट्रीटमेंट प्लांट से हो रही है।
