मेरी मौत के जिम्मेदार महेंद्र सर और शार्ग मैम: शारदा यूनिवर्सिटी छात्रा आत्महत्या मामले में दो टीचर अरेस्ट

शारदा यूनिवर्सिटी छात्रा आत्महत्या मामले में दो टीचर अरेस्ट
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Two Teachers Arrested in Sharda University Student Suicide Case : उत्तर प्रदेश। ग्रेटर नोएडा की शारदा यूनिवर्सिटी में छात्रा के आत्महत्या मामले में पुलिस ने दो टीचर को गिरफ्तार कर लिया है। पुलिस ने बताया कि, घटनास्थल से छात्रा का सुसाइड नोट बरामद हुआ है। इसमें छात्रा ने यूनिवर्सिटी के ही दो टीचर्स पर टॉर्चर करने के गंभीर आरोप लगाए हैं। छात्रा ने लिखा कि, मेरी मौत के जिम्मेदार महेंद्र सर और शार्ग मैम हैं।

जानकारी के मुताबिक, इस घटना के बाद छात्रा के परिजनों और अन्य छात्रों ने यूनिवर्सिटी प्रशासन के खिलाफ जमकर हंगामा किया। ग्रेटर नोएडा की शारदा यूनिवर्सिटी के गर्ल्स हॉस्टल में आत्महत्या करने वाली बीडीएस कोर्स की छात्रा थी। छात्रा की पहचान ज्योति शर्मा के रूप में हुई है।

खुदकुशी से पहले छात्रा द्वारा लिखे एक सुसाइड नोट में दो टीचरों द्वारा उसे प्रताड़ित और अपमानित करने का आरोप लगाया गया है। पुलिस ने इस संबंध में एफआईआर दर्ज कर दोनों को गिरफ्तार कर लिया है। प्रदर्शन के दौरान छात्रों ने यूनिवर्सिटी प्रशासन के खिलाफ नारेबाजी की और मांग की कि ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए कड़े कदम उठाए जाएं।

ये है पूरा मामला

पुलिस के अनुसार, गुरुग्राम की रहने वाली ज्योति शारदा यूनिवर्सिटी में बीडीएस की पढ़ाई कर रही थी। शुक्रवार रात को उसने अपने हॉस्टल के कमरे में फांसी का फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली। हादसे की सूचना मिलते ही परिजन और स्थानीय पुलिस मौके पर पहुंची।

कमरे की तलाशी के दौरान पुलिस को एक सुसाइड नोट मिला, जिसमें ज्योति ने लिखा, "मेरी मौत के जिम्मेदार महेंद्र सर और शार्ग मैम हैं। इन्होंने मुझे मानसिक रूप से प्रताड़ित किया और बार-बार अपमानित किया।" इस नोट ने यूनिवर्सिटी प्रशासन की कार्यप्रणाली पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए।

सुसाइड नोट में लगाए गए आरोपों के बाद परिजनों और अन्य छात्रों में आक्रोश फैल गया। उन्होंने शारदा यूनिवर्सिटी के प्रशासन पर छात्रों के साथ दुर्व्यवहार और मानसिक उत्पीड़न का आरोप लगाते हुए परिसर में प्रदर्शन किया।

प्रदर्शनकारियों ने मांग की कि यूनिवर्सिटी प्रशासन इस मामले में तत्काल कार्रवाई करे और दोषियों को सजा दे। पुलिस और प्रशासन के हस्तक्षेप के बाद स्थिति को नियंत्रित किया गया, और मौके पर शांति बहाल की गई।

मामले की जांच शुरू

ग्रेटर नोएडा के अतिरिक्त पुलिस उपायुक्त (एडीसीपी) सुधीर कुमार ने बताया कि छात्रा के परिजनों की लिखित शिकायत और सुसाइड नोट के आधार पर नॉलेज पार्क थाने में भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 306 (आत्महत्या के लिए उकसाना) और अन्य सुसंगत धाराओं के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई है। शिकायत में नामजद दोनों शिक्षक महेंद्र और शार्ग को गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिस ने मृतका के शव को पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया है और मामले की गहन जांच शुरू कर दी गई है।

एडीसीपी ने बताया कि पुलिस सुसाइड नोट में लगाए गए आरोपों की सत्यता की जांच कर रही है। इसके लिए यूनिवर्सिटी के अन्य छात्रों और स्टाफ से पूछताछ की जा रही है ताकि यह पता लगाया जा सके कि क्या ज्योति को वास्तव में मानसिक रूप से प्रताड़ित किया गया था। पुलिस यह भी जांच कर रही है कि क्या यूनिवर्सिटी प्रशासन ने पहले इस तरह की शिकायतों को नजरअंदाज किया था।

परिजनों ने यूनिवर्सिटी प्रशासन पर लापरवाही और छात्रों की सुरक्षा के प्रति उदासीनता का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि अगर यूनिवर्सिटी ने समय रहते ज्योति की शिकायतों पर ध्यान दिया होता तो यह हादसा टाला जा सकता था। अन्य छात्रों ने भी यूनिवर्सिटी के कुछ शिक्षकों और प्रशासन के रवैये की शिकायत की, जिसमें कथित तौर पर छात्रों को अपमानित करने और दबाव डालने की बात सामने आई।

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