जनजातीय छात्रावासों का नाम वीरांगना रानी दुर्गावती और शंकर-रघुनाथ शाह पर

मंत्रिपरिषद की बैठक से पहले मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव का संबोधन
मंगलवार को मंत्रिपरिषद की बैठक से पहले मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने अपने संबोधन में मंत्रियों को भावांतर योजना के सफल क्रियान्वयन के लिए बधाई दी। विस्तृत जानकारी देते हुए उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश द्वारा की गई इस पहल से अन्य राज्य भी प्रेरणा ले रहे हैं।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने जनजातीय गौरव दिवस के सफल आयोजन के संबंध में बताया कि जबलपुर में हुए राज्य स्तरीय कार्यक्रम को प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने वर्चुअली संबोधित किया।
भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती के उपलक्ष्य में पूरे प्रदेश में, और विशेष रूप से बड़वानी, अलीराजपुर और जबलपुर में विशेष कार्यक्रम आयोजित किए गए। उन्होंने बताया कि इस अवसर पर शालिनी एप का लोकार्पण किया गया। इस एप के माध्यम से जनजातीय कार्य विभाग की योजनाओं की जानकारी प्राप्त की जा सकेगी।
जनजातीय कार्य विभाग के अंतर्गत संचालित सभी कन्या छात्रावास और आश्रमों का नाम वीरांगना रानी दुर्गावती के नाम पर रखा जाएगा। बालक छात्रावासों का नाम महाराजा शंकर शाह और रघुनाथ शाह के नाम पर रखा जाएगा। उन्होंने यह भी बताया कि वर्ष 2026 में 5 हजार छात्रावास अधीक्षकों की भर्ती की जाएगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि भाईदूज पर लाड़ली बहना योजना की राशि 1,250 रुपये से बढ़ाकर 1,500 रुपये कर दी गई है। उन्होंने कहा कि हम अपनी बहनों को सशक्त बनाने के लिए हर संभव प्रयास करेंगे।
पन्ना के हीरे को जी.आई. मिलने पर बधाई
मुख्यमंत्री ने पन्ना के हीरे को जी.आई. टैग मिलने पर भी बधाई दी। उन्होंने कहा कि भारत सरकार द्वारा पन्ना के हीरे को जी.आई. टैग प्रदान किया गया है। इसके मिलने से अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर इसकी मान्यता होगी और यह “पन्ना डायमंड” के नाम से बेचा जाएगा। इससे युवाओं और कारीगरों को रोजगार के नए अवसर भी मिलेंगे। यह प्रदेश के लिए गौरव का विषय है।
बहनों को सशक्त बनाने के लिए हर संभव प्रयास
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि भाईदूज पर लाड़ली बहना योजना की राशि 1,250 रुपये से बढ़ाकर 1,500 रुपये करने का वादा किया था, जो 12 नवंबर को पूरा किया गया। इस योजना की शुरुआत जून 2023 में हुई थी और अक्टूबर 2025 तक बहनों को 44,900 करोड़ रुपये से अधिक राशि का अंतरण किया जा चुका है। राखी के शगुन के 250 रुपये भी अलग से बहनों को दिए गए हैं। अब से हर महीने 1,500 रुपये मिलेंगे।
एमपी टेक ग्रोथ से खुलेंगे निवेश के द्वार
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने बताया कि इंदौर में हुए एमपी टेक ग्रोथ के सफल आयोजन से प्रदेश में आईटी, ड्रोन, सेमीकंडक्टर और अन्य क्षेत्रों में निवेश गतिविधियों के विस्तार के नए द्वार खुलेंगे। कार्यक्रम में एयरोस्पेस, रक्षा और अन्य उद्योग क्षेत्रों में निवेश तथा आवंटन प्रोत्साहन पर चर्चा हुई। भारतीय सेना और अंतरराष्ट्रीय कंपनियों के प्रतिनिधियों से वन-टू-वन चर्चा की गई।
उन्होंने बताया कि टेक ग्रोथ कॉन्क्लेव में मध्यप्रदेश स्पेस टेक नीति-2025 का मसौदा भी पेश किया गया। यह नीति राज्य को भारत की स्पेस टेक अर्थव्यवस्था में अग्रणी स्थान दिलाने की दिशा में महत्वपूर्ण पहल है।
