बेंगलुरु टेक समिट 2025 में चमका मध्यप्रदेश, नवाचार और नीतियों से बना निवेशकों का नया हॉटस्पॉट

बेंगलुरु इंटरनेशनल प्रदर्शनी केंद्र में आयोजित बेंगलुरु टेक समिट (बीटीएस) 2025 में मध्यप्रदेश ने अपनी तकनीकी क्षमता और तेजी से विकसित होते नवाचार वातावरण का प्रभावशाली प्रदर्शन किया। राज्य सरकार द्वारा स्थापित विशेष प्रदर्शनी मंडप ने टियर-2 तकनीकी केंद्र के रूप में मध्यप्रदेश की उभरती स्थिति को सशक्त रूप में प्रदर्शित किया। मंडप में निवेशक-अनुकूल नीतियों और तकनीकी प्रगति ने उद्योग जगत का विशेष ध्यान आकर्षित किया।
प्रमुख नीतियां बनीं आकर्षण का केंद्र
मध्यप्रदेश मंडप में ग्लोबल केपेबिलिटी सेंटर (जीसीसी) नीति 2025, ड्रोन संवर्धन एवं उपयोग नीति 2025, एवीजीसी-एक्सआर नीति 2025, सेमीकंडक्टर नीति 2025 तथा आईटी-आईटीईएस एवं ईएसडीएम निवेश संवर्धन नीति 2023 को प्रदर्शित किया गया। इन नीतियों का उद्देश्य राज्य को सूचना प्रौद्योगिकी सेवाओं, इलेक्ट्रॉनिक्स निर्माण, डेटा केंद्र, सेमीकंडक्टर विनिर्माण और ड्रोन तकनीक के क्षेत्र में प्रमुख निवेश केंद्र बनाना है।
वैश्विक कंपनियों का बढ़ा भरोसा
प्रदर्शनी मंडप में इंफोसिस, टीसीएस, हिटाची, टेक महिंद्रा, पर्सिस्टेंट और अन्य कई प्रतिष्ठित कंपनियों ने मध्यप्रदेश में निवेश और तकनीकी सहयोग के अवसरों पर रुचि दिखाई। कंपनियों ने डेटा केंद्र विस्तार, एआई-आधारित समाधान, सेमीकंडक्टर निर्माण और ड्रोन तकनीक पर गहन चर्चा की।
भविष्य के लिए तैयार मध्यप्रदेश
विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी विभाग के अपर मुख्य सचिव संजय दुबे ने कहा कि मध्यप्रदेश एक “भविष्य-तैयार नवाचार वातावरण” विकसित कर रहा है। प्रगतिशील नीतियां और मजबूत आधारभूत संरचना राज्य को देश का प्रमुख तकनीकी निवेश केंद्र बना रही हैं।
तेजी से विकसित होता तकनीकी परिदृश्य
मध्यप्रदेश के तकनीकी विकास को दर्शाते हुए बताया गया कि राज्य में 15 से अधिक आईटी पार्क, 6 आईटी विशेष आर्थिक क्षेत्र, 2000 से अधिक आईटी और ईएसडीएम इकाइयाँ, 1200 से अधिक टेक-स्टार्टअप और दो लाख से अधिक प्रत्यक्ष रोजगार उपलब्ध हैं। इंदौर, भोपाल, ग्वालियर और जबलपुर जैसे शहर बड़ी कंपनियों की पहली पसंद बनते जा रहे हैं।
