Home > राज्य > अन्य > नई दिल्ली > #HappyWomensDay2020 : PM मोदी के ट्विटर हैंडल से अब मालविका ने शेयर की अपनी प्रेरक कहानी

#HappyWomensDay2020 : PM मोदी के ट्विटर हैंडल से अब मालविका ने शेयर की अपनी प्रेरक कहानी

#HappyWomensDay2020 : PM मोदी के ट्विटर हैंडल से अब मालविका ने शेयर की अपनी प्रेरक कहानी
X

नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ट्विटर पर 5.34 करोड़, इंस्टाग्राम पर 3.54 करोड़ और फेसबुक पर 4 करोड़ 46 लाख 49 हजार 542 फॉलोअर्स हैं। मोदी ने सोमवार को एक ट्वीट के जरिए कहा था कि वे सोशल मीडिया छोडऩे की सोच रहे हैं लेकिन एक दिन बाद ही मंगलवार को उन्होंने खुलासा किया कि आठ मार्च को महिला दिवस पर वे अपना अकाउंट ऐसी महिलाओं को देंगे, जिनका जीवन हमें प्रेरित करता है।

इसी मुहिम के तहत आज रविवार को पीएम मोदी के सोशल मीडिया की कमान महिलाओं ने संभाल ली है। स्नेहा मोहनदास को सबसे पहला मौका मिला। स्नेहा के बाद मालविका अय्यर ने तीन ट्वीट किए हैं। मालविका ने 13 साल की उम्र में एक हादसे में अपने हाथ गंवा दिए थे। मालविका एक इंटरनेशनल मोटिवेशनल स्पीकर होने के साथ-साथ विकलांगों के हक के लिए लडऩे वाली एक्टिविस्ट हैं। उन्होंने पीएचडी की है और उन्हें फैशन मॉडल के तौर पर भी जाना जाता है। मालविका का जन्म तमिलनाडु में हुआ था। हालांकि, उनका पालन-पोषण राजस्थान के बीकानेर में हुआ।

राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने उन्हें नारि शक्ति पुरस्कार से सम्मानित किया था। अब वे दिव्यांगों के साथ भेदभाव दूर करने के लिए काम कर रही हैं। मालविका ने कहा, मुझे मेरे स्कूल, मेरे कार्यस्थल और मेरे समाज ने अपनाया है। यदि किसी को समाज पूरी तरह से अपनाता है तो वह व्यक्ति जीवन में सबकुछ हासिल कर सकता है। स्वीकार्यकता ही वह सम्मान है जो हम खुद को दे सकते हैं।

इससे पहले स्नेहा ने भी तीन ट्वीट किए। स्नेहा ने खुद का परिचय देते हुए अपने काम के बारे में एक वीडियो शेयर किया। स्नेहा ने बताया कि मैंने 2015 में चेन्नई बाढ़ के दौरान फूड बैंक की शुरुआत की थी। इसका उद्देश्य भूख के खिलाफ लडऩा और देश को भूख से मुक्त करना है। मुझे अपनी मां से यह प्रेरणा मिली जो कि उनके दादा के जन्मदिन या त्योहारों पर अनाथ बच्चों को घर लाकर खाना खिलाती थीं। मैंने फूड बैंक की शुरुआत फेसबुक पेज से की थी। अभी यह कई राज्यों के साथ दक्षिण अफ्रीका में काम कर रहा है। मैं डोनेशन पैसे के रूप में न लेकर खाना डोनेट करने को कहती हूं। मैं सामूहिक रसोई, कुकिंग मैराथन जैसे कैंपेन भी कर रही हूं। साथ ही स्तनपान को लेकर भी जागरुकता अभियान चलाती हूं। मैं सभी से आग्रह करती हूं कि कम से कम एक जरूरतमंद व्यक्ति को भोजन कराएं।

Updated : 8 March 2020 7:49 AM GMT
Tags:    
author-thhumb

Swadesh Digital

स्वदेश वेब डेस्क www.swadeshnews.in


Next Story
Top