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कमलनाथ बताएं कि बिजली मीटर, आइफा के नाम पर उगाही किसके इशारों पर हुई : विष्णुदत्त शर्मा

कमलनाथ 15 महीने का हिसाब न देकर हार की बौखलाहट से झूठे आरोप लगा रहे हैं

कमलनाथ बताएं कि बिजली मीटर, आइफा के नाम पर उगाही किसके इशारों पर हुई : विष्णुदत्त शर्मा
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भोपाल। भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष व सांसद श्री विष्णुदत्त शर्मा ने प्रदेश कार्यालय में पत्रकार वार्ता में कहा कि विधानसभा उपचुनाव में कांग्रेस कमलनाथ सरकार के 15 महीने का हिसाब न देकर मुख्यमंत्री श्री शिवराजसिंह चौहान और भाजपा नेताओं पर अनर्गल आरोप प्रत्यारोप लगाकर जनता का ध्यान मुद्दे से हटाने का प्रयास कर रही है। कमलनाथ को 15 महीने के कार्यकाल का जनता के सामने हिसाब देना चाहिए न कि हार की बौखलाहट में अनर्गल आरोप लगाकर जनता को गुमराह करना चाहिए।

कोरोना संकट से निपटने के बजाए आइफा को तवज्जो दी

शर्मा ने कहा कि जनवरी माह में केन्द्र ने कोरोना को लेकर सभी प्रदेशों को एडवाइजरी जारी की थी, लेकिन मध्यप्रदेश में कमलनाथ सरकार कोरोना से निपटने के इंतजाम करने के बजाए इंदौर में आइफा आयोजन के लिए बैठकों में व्यस्त थी, उसे जनता से कोई लेना देना नहीं था। कमलनाथ सरकार ने कोरोना संकट को गंभीरता से नहीं लिया, उसके लिए आइफा ही सब कुछ था। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने एक पीपीई किट तक की व्यवस्था नहीं की। कोरोना संकट में जब भाजपा की सरकार बनी तो तत्काल कार्ययोजना बनाकर कोरोना से निपटने के इंतजाम किए गए। श्री शर्मा ने कहा कि दुर्भाग्य है कि कांग्रेस उस पीपीई किट पर भी आरोप लगा रही है जिसने कोरोना योद्धाओं की जान की हिफाजत की। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार ने कोरोना काल में गरीब, सहरिया आदिवासियों के खातों में 1-1 हजार रूपए पहुंचाने का काम किया तो कांग्रेस को यह भी घोटाला नजर आ रहा है।

कमलनाथ बताएं राजू मोंटाना और गोपाल रेड्डी से उनके क्या संबंध है ?

विष्णुदत्त शर्मा ने कहा कि 15 महीने के कार्यकाल में दिग्विजय सिंह के इशारे पर कमलनाथ सरकार चली। उन्होंने कहा कि कमलनाथ बताएं कि राजू मोंटाना और गोपाल रेड्डी से उनके क्या संबंध है ? उन्होंने कहा कि अगस्ता वेस्टलेंड में जिस रतुल पुरी का नाम 7600 करोड़ और 780 करोड़ के घोटाले में सामने आया क्या वे उनके मामा नहीं है ? जनता कमलनाथ से पूछना चाहती है कि आपका उनसे क्या संबंध है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस सरकार में मुख्यमंत्री के ओएसडी रहे प्रवीण कक्कड़ और आरके मिगलानी के यहां आयकर के छापे पडते है और 281 करोड रूपए मिलने की अधिकारिक पुष्टि होती है। कमलनाथ को मध्यप्रदेश की जनता को बताना चाहिए कि उनके मिगलानी और कक्कड़ से क्या संबंध है ? और इतनी बड़ी राशि उनके पास कहां से आयी ?

जनसंपर्क घोटाले में कितनों की बंदरबाट हुई ?

शर्मा ने कहा कि छिंदवाडा परियोजना को लेकर अग्रिम 450 करोड़ रूपए आपकी सरकार रहते किसे दिए गए ? यह जनता जानना चाहती है कि 131 करोड़ रूपए के जनसंपर्क घोटाले में पैसों की बंटरबाट किन किन लोगों को किसके इशारे पर हुई। उन्होंने कहा कि कमलनाथ बताएं कि कांग्रेस नेता दिग्विजय की पत्नी जिस मीडिया संस्थान में सहभागी बनी, उस मीडिया संस्थान को कमलनाथ सरकार द्वारा कितने पैसों की बंटरबाट की गयी ? उन्होंने कहा कि 2003 के पूर्व मध्यप्रदेश का बंटाढार करने वाले मिस्टर दिग्विजय सिंह पर्दे के पीछे से कमलनाथ सरकार को संचालित करने का काम कर रहे थे। कमलनाथ और दिग्विजय सिंह ने मिलजुलकर काम किया। कमलनाथ बताएं कि माध्यम द्वारा 20 मार्च 2020 को 40 करोड का भुगतान किसे किया गया ? वहीं किसानों के नाम पर छपे ताम्र पत्रों का भुगतान बिना छपे ही क्यों कर दिया गया ?

गरीब जनता की चिंता करने के बजाए कमलनाथ धन उगाही में लगे रहे

शर्मा ने कहा कि मुख्यमंत्री रहते कमलनाथ ने आइफा अवार्ड के नाम पर उद्योगपतियों पर दबाव डालकर ब्रिजक्राफ्ट कंपनी को लाभ पहुंचाने का काम किया। कमलनाथ बताएं कि ब्रिजक्राफ्ट कंपनी का मालिक किसका दोस्त था ? उन्होंने कहा कि कमलनाथ सरकार ने दबाव डालकर एलपीजी कंपनी से 40 करोड और बिरला कंपनी से 4 करोड का भुगतान ब्रिजक्राफ्ट कंपनी को कराया। 15 महीने तक कमलनाथ सरकार गरीब जनता की चिंता करने के बजाए धन उगाही में लगी रही।

कमलनाथ ने किया भ्रष्ट अधिकारियों को उपकृत

प्रदेश अध्यक्ष शर्मा ने कहा कि जिस अधिकारी पर एमपीएफसी के अंदर 600 करोड के घोटाले का आरोप था उसे बचाने के लिए सरकारी गवाह बनाते हुए उसे चीफ सेक्रेटरी बनाने का काम कमलनाथ ने किया। उन्होंने कहा कि कमलनाथ ने प्रदेश में आते ही एक भ्रष्ट अधिकारी को उपकृत करके भ्रष्टाचार का खेल शुरू कर दिया। कमलनाथ को जवाब देना चाहिए कि किस आधार पर उसे सरकारी गवाह बना दिया गया। कमलनाथ के प्रमुख अधिकारी रहे गोपाल रेड्डी के बारे में केन्द्र सरकार ने एक रिपोर्ट के आधार पर यहां तक कह दिया था कि इस अधिकारी को आफिस के अंदर घुसने की इजाजत नहीं है, इसे बैरंग वापस भेज दिया जाना चाहिए। उस अधिकारी को कमलनाथ सरकार ने उपकृत करने का काम किया। कमलनाथ सरकार ने एस आर मोहंती और गोपाल रेड्डी जैसे अधिकारियों को चीफ सेक्रेटरी बनाकर भ्रष्टाचार को बढावा दिया।

कमलनाथ बताएं हवाला कांड से क्या संबंध है ?

विष्णुदत्त शर्मा ने कहा कि कमलनाथ यह कहते हैं कि उनका राजनैतिक जीवन बेदाग है, उन पर कोई आरोप नहीं है। प्रदेश की जनता जानना चाहती है कि हवाला कांड से आपका क्या संबंध था ? हवाला कांड के चलते इस्तीफा क्यों दिया। उन्होंने कहा कि नारी सशक्तिकरण की बात करने वाले कमलनाथ बताएं कि हवाला कांड के बाद जब उनकी पत्नि चुनाव लडी तो उन्हें बीच कार्यकाल में ही इस्तीफा क्यों देना पड़ा ? उन्होंने कहा कि बहन इमरती देवी ने कहा है कि कमलनाथ प्रत्येक विधायक को 5-5 लाख रूपए प्रतिमाह इसलिए देते थे ताकि वे सब शांत रहें और सरकार के खिलाफ न बोलें। कमलनाथ आज भाजपा पर आरोप लगा रहे हैं जबकि सबसे बडी खरीद फरोख्त और गंभीर अपराध उन्होंने किया।

मध्यप्रदेश के गरीबों से पैसा लूटकर दिल्ली के 'गोरों' तक पहुंचाया

शर्मा ने कहा कि कमलनाथ को बताना चाहिए कि कर्नाटक के आईटी एक्सपर्ट संतोष कौन है, उनके आपसे क्या संबंध है ? उन्होंने कहा कि कमलनाथ सरकार के समय 600 करोड़ का बिजली मीटर घोटाला हुआ उसका जवाब भी जनता जानना चाहती है। श्री शर्मा ने कमलनाथ सरकार में वायरल हुए ऑडियो का हवाला देते हुए कहा कि कमलनाथ ने एक ऑडियो में यह कहते सुनाई दे रहे थे कि गोरों को पैसा पहुंचा की नहीं। यह ऑडियो टीवी चैनलों के माध्यम से जनता ने सुना। अगर यह ऑडियो गलत था तो मीडिया चैनल पर कार्यवाही क्यों नहीं की गयी ? कमलनाथ बताएं कि ऑडियो में गोरों से तात्पर्य किससे है, क्या राहुल गांधी और सोनिया गांधी से है ? उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश की जनता से पैसा लूटकर कमलनाथ दिल्ली में ''गोरों'' तक पैसा पहुंचा रहे थे, यह दिल्ली में आईटी की टीम के छापों में भी सामने आया है।

Updated : 30 Oct 2020 2:14 PM GMT
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स्वदेश डेस्क

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