वरिष्ठ साहित्यकार जगदीश तोमर को राजा वीर सिंह देव राष्ट्रीय पुरस्कार

वरिष्ठ साहित्यकार जगदीश तोमर को राजा वीर सिंह देव राष्ट्रीय पुरस्कार
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ग्वालियर। वरिष्ठ साहित्यकार एवं प्रेमचन्द सृजन पीठ के पूर्व निदेशक जगदीश तोमर को मध्यप्रदेश साहित्य अकादमी भोपाल द्वारा उपन्यास के लिये दिये जाने वाले राजा वीरसिंह देव राष्ट्रीय पुरस्कार वर्ष 2017 के लिये नामित किया गया है। यह पुरस्कार उनके हाल ही में प्रकाशित उपन्यास नीलकण्ठ का स्वप्न के लिये दिया गया है। वरिष्ठ साहित्यकार श्री तोमर को इससे पूर्व भी अनेक साहित्यिक संस्थाओं ने सम्मानित किया है। जिसमें प्रमुख सम्मानों में 1996 में अक्षर आदित्य सम्मान, 2011 में कोटा राजस्थान में कहानी संग्रह अंतहीन यात्रा के लिए कथाकार सम्मान, 2012 में पंडित दीनदयाल उपाध्याय साहित्य सम्मान तथा अब 2017 का राजा वीरसिंह देव राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित किया जाएगा। साहित्यकार जगदीश तोमर का सम्पूर्ण लेखन राष्ट्रीय दिशा का बोध कराने वाला ही रहा है। उनका सम्पूर्ण चिंतन साहित्य की ऐसी धारा की वर्षा करता है, जिसकी हर बूंद राष्ट्रीय समृद्धि का रास्ता निर्मित करती है। ग्वालियर के अनेक साहित्यकारों को श्री तोमर ने हमेशा सकारात्मक लेखन के लिए ही प्रेरित किया है। राजा वीरसिंह देव राष्ट्रीय पुरस्कार से सम्मानित किए जाने पर अनेक साहित्यिक संस्थाओं एवं सहित्यकारों ने श्री तोमर को बधाई दी है। अखिल भारतीय साहित्य परिषद मध्यभारत प्रान्त की ओर से साहित्य अकादमी मध्यप्रदेश का आभार प्रकट करते हुए श्री तोमर को अनंत शुभकामनाएं एवं बधाइयाँ दी हैं। श्री तोमर की अन्य प्रमुख कृतियों में काँच की दीवार, अपने समय के लिये (काव्य संग्रह), नए हस्ताक्षर (काव्य संग्रह संपादित), अन्तहीन यात्रा, विजयमंत्र (कहानी संग्रह), छत्रपति शिवाजी की कथाएँ, मंगलवन (बाल उपन्यास), बूझो तो जानें, ज्ञान पहेलियाँ, विज्ञान पहेलियाँ (बाल साहित्य) अत्यंत पठनीय व संग्रहणीय साहित्य है।



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