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जम्मू-कश्मीर में केसर पार्क से किसानों की आय हुई दोगुनी : प्रधानमंत्री

प्रधानमंत्री ने 9.75 करोड़ किसानों को 19,509 करोड़ रुपये की सम्मान राशि सीधा उनके बैंक खातों में हस्तांतरित की

जम्मू-कश्मीर में केसर पार्क से किसानों की आय हुई दोगुनी : प्रधानमंत्री
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नईदिल्ली। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने सोमवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि (पीएम-किसान) योजना के तहत वित्तीय लाभ की 9वीं किश्त जारी की। प्रधानमंत्री द्वारा रिमोट का बटन दबाने के साथ ही 9.75 करोड़ से अधिक किसानों के खातों में 19,509 करोड़ रुपये ट्रांसफर हो गए।

कार्यक्रम के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने किसान लाभार्थियों से बातचीत भी की। प्रधानमंत्री ने कहा पिछले कईं दिनों से मैं सरकार की अलग अलग योजनाओं के लाभार्थियों से चर्चा कर रहा हूं। सरकार ने जो योजनाएं बनाई है, उनका लाभ लोगों तक कैसे पहुंच रहा है, ये और बेहतर तरीके से हमें पता चलता है। जनता जनार्दन से डायरेक्ट कनेक्शन का यही लाभ होता है। इस बार देश अपना 75वां स्वतंत्रता दिवस मनाने जा रहा है।ये महत्वपूर्ण पड़ाव हमारे लिए गौरव का तो है ही, ये नए संकल्पों, नए लक्ष्यों का भी अवसर है। इस अवसर पर हमें तय करना है कि आने वाले 25 वर्षों में हम भारत को कहां देखना चाहते हैं।

2047 में तब भारत की स्थिति क्या होगी -

देश जब आजादी के 100 वर्ष पूरे करेगा, 2047 में तब भारत की स्थिति क्या होगी, ये तय करने में हमारी खेती, हमारे किसानों की बहुत बड़ी भूमिका है।ये समय भारत की कृषि को एक ऐसी दिशा देने का है, जो नई चुनौतियों का सामना कर सके और नए अवसरों का लाभ उठा सके।जम्मू-कश्मीर का केसर विश्व प्रसिद्ध है। सरकार ने ये फैसला लिया है कि जम्मू-कश्मीर का केसर देशभर में नाफेड की दुकानों पर उपलब्ध होगा। इससे जम्मू-कश्मीर में केसर की खेती को बहुत प्रोत्साहन मिलने वाला है।

खान-पान की आदतों को लेकर जागरूकता

हमने बीते 1.5 वर्ष में कोरोना महामारी के कारण दुनिया भर में हो रहे बदलावों को अनुभव किया है। इस कालखंड में देश में ही खान-पान की आदतों को लेकर जागरूकता आई है। मोटे अनाज, मसाले, सब्जी, फलों, ऑर्गेनिक उत्पादों की मांग तेजी से बढ़ रही है।सरकार ने खरीफ हो या रबी सीजन, किसानों से MSP पर अब तक की सबसे बड़ी खरीद की है। इससे, धान किसानों के खाते में लगभग 1 लाख 70 हजार करोड़ रुपये और गेहूं किसानों के खाते में लगभग 85 हजार करोड़ रुपये डायरेक्ट पहुंचे हैं।

कुछ साल पहले जब देश में दालों की बहुत कमी हो गई थी, तो मैंने देश के किसानों से दाल उत्पादन बढ़ाने का आग्रह किया था। परिणाम ये हुआ कि बीते 6 साल में देश में दाल के उत्पादन में लगभग 50 प्रतिशत की वृद्धि हुई है।खाद्य तेल में हमारा देश आत्मनिर्भर हो इसके लिए हमें काम करना है। इसके लिए राष्ट्रीय खाद्य तेल मिशन का संकल्प लिया गया है। आज देश भारत छोड़ो आंदोलन को याद कर रहा है, इस ऐतिहासिक दिन में ये संकल्प हमें ऊर्जा से भर देता है।

आज भारत कृषि निर्यात के मामले में पहली बार दुनिया के टॉप-10 देशों में पहुंचा है। कोरोना काल में देश ने कृषि निर्यात के नए रिकॉर्ड बनाए हैं। आज जब भारत की पहचान एक बड़े कृषि निर्यातक देश की बन रही है।अब देश की कृषि नीतियों में इन छोटे किसानों को सर्वोच्च प्राथमिकता दी जा रही है। छोटे किसानों को सुविधा और सुरक्षा देने का एक गंभीर प्रयास किया जा रहा है। पीएम किसान सम्मान निधि के तहत अब तक 1 लाख 60 करोड़ रुपये किसानों को दिए गए हैं।

कोरोना काल में ही 2 करोड़ से अधिक किसान क्रेडिट कार्ड जारी किए गए हैं, जिसमें से अधिकतर छोटे किसानों के लिए हैं। कल्पना कीजिए कि ये मदद अगर किसानों को न मिलती, तो 100 वर्ष की इस सबसे बड़ी आपदा में उनकी क्या स्थिति होती।इंफ्रास्ट्रक्चर फंड हो, या 10,000 किसान उत्पादक संघों का निर्माण, कोशिश यही है कि छोटे किसानों की ताकत को बढ़ाया जाए।छोटे किसानों की बाजारों तक पहुंच भी अधिक हो और बाजारों में मोलभाव करने की उनकी क्षमता भी अधिक हो।हाल में एक और बड़ा फैसला लेते हुए सरकार ने तय किया है कि जो राज्यों में हमारी सरकार मंडियां है उनको भी विशेष इंफ्रास्ट्रक्चर फंड से मदद मिल सके। इस फंड का उपयोग करके हमारी सरकारी मंडियां बेहतर होंगी, ज्यादा मजबूत होगी, आधुनिक होगी।

इस अवसर पर केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर भी उपस्थित रहे। उल्लेखनीय है कि पीएम-किसान योजना के तहत, पात्र लाभार्थी किसान परिवारों को 6000 रुपये प्रति वर्ष का वित्तीय लाभ प्रदान किया जाता है और इस वित्तीय लाभ को 2000 रुपये की 3 किस्तों में प्रत्येक 4 माह में प्रदान किया जाता है। धनराशि को सीधे लाभार्थियों के बैंक खातों में हस्तांतरित किया जाता है। इस योजना के अंतर्गत, अबतक 1.38 लाख करोड़ रुपये से अधिक की सम्मान राशि किसान परिवारों के बैंक खातों में हस्तांतरित की जा चुकी है।

Updated : 12 Oct 2021 10:38 AM GMT
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स्वदेश डेस्क

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