Pahalgam Terror Attack: पहलगाम ही नहीं पुलवामा हमले से भी जुड़े हैं TRF के तार, ISI से मिलता है सपोर्ट

Pahalgam Terror Attack
X

Pahalgam Terror Attack : पहलगाम ही नहीं पुलवामा हमले से भी जुड़े हैं TRF के तार

Pahalgam Terror Attack : टीआरएफ यानि "द रेजिस्टेंस फ्रंट..." पहलगाम में सैलानियों पर हुए हमले के पीछे इसी संगठन का हाथ है। पहलगाम में सैलानियों पर हुए आतंकी हमले की जिम्मेदारी टीआरएफ ने ली है। आतंकी हमले में अब तक 26 लोगों की मौत हुई। द रेजिस्टेंस फ्रंट का नाम पहली बार किसी आतंकी हमले में सामने नहीं आया बल्कि इसके पहले पुलमावा हमले में इस आतंकी संगठन का नाम सामने आया था।

मीडिया रिपीर्टस के अनुसार, कश्मीर में ये आतंकी संगठन 2019 में तब सामने आया जब सरकार ने अनुच्छेद 370 हटाया था। लश्कर ए तैयबा और इंडियन मुजाहिदीन ने इस संगठन को खड़ा किया है। पाकिस्तान की खुफिया एजेंसी आईएसआई का टीआरएफ को पूरा सहयोग है।

टीआरएफ की स्थापना शेख सज्जाद गुल नाम के आतंकी ने की जो पाकिस्तान में बैठकर इस आतंकी संगठन को चलाता है। साल 2019 के पुलवामा हमले में भी टीआरएफ का नाम सामने आया था। टीआरएफ 2020 में भाजपा कार्यकर्ताओं की हत्या के बाद चर्चा में आया था।

टीआरएफ सोशल मीडिया और अन्य तरीकों से कश्मीर के स्थानीय युवाओं की भर्ती करके उनसे आतंकी हमले करता है। सरकार टीआरएफ पर प्रतिबंध लगा चुकी है। यह जानकारी भी सामने आई है कि, टीआरएफ आतंकी हमले में जिन स्थानीय कश्मीरियों का इस्तेमाल करता है, वो सीमा पार पाकिस्तान के आतंकी कैंप में ट्रेनिंग लेते हैं। ट्रेनिंग के बाद उन्हें वापस घाटी में छोड़ दिया जाता है। टीआरएफ के आतंकी अपने घर पर ही सामान्य लोगों की तरह रहते हैं, काम करते हैं और पाकिस्तान में बैठे आकाओं का निर्देश मिलने के बाद ये आतंकी हमला करते हैं।

टीआरएफ में लड़ाकों के अलावा जासूसों की भी भर्ती होती है। कुछ सूत्रों की मानें तो पहलगाम हमले से पहले टीआरएफ के जासूसों ने बैसरन के मिनी स्विट्जरलैंड की कई बार रेकी की थी। इसके बाद लड़ाकों ने अटैक किया और सैलानियों की निर्मम तरीके से हत्या कर दी।

Tags

Next Story