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राजधानी से होगा निकायों और संस्थाओं का अंकेक्षण

Update: 2019-03-06 15:41 GMT

विशेष संवाददाता भोपाल

राज्य सरकार के नगरीय निकायों, विश्वविद्यालयों सहित अनेक संस्थाओं के अंकेक्षण का काम अब भोपाल से होगा। स्थानीय निधि एवं संपरीक्षा (लोकल फंड एंड ऑडिट) का राज्य स्तरीय कार्यालय ग्वालियर के बजाय भोपाल स्थानांतरित किया जा रहा है। हाल ही में संचालक स्थानीय निधि एवं संपरीक्षा नियुक्ति ग्वालियर मुख्यालय के बजाय भोपाल में की गई है। ग्वालियर में पदस्थ सभी कर्मचारियों को भोपाल स्थानांतरित किया जा रहा है। मध्यप्रदेश की स्थापना के बाद से ही ग्वालियर को मिले पांच मुख्यालयों में से एक स्थानीय निधि एवं संपरीक्षा को ग्वालियर से भोपाल लाने की तैयारी पिछली सरकार से ही चल रही थी। छह फरवरी को इस संस्था की संचालक संध्या श्रीवास्तव के पदस्थापना आदेश में उन्हें भोपाल पदस्थ किया गया। राजधानी में खोले गए कार्यालय में अब तक ग्वालियर से 100 से अधिक अधिकारी-कर्मचारियों की तैनाती की गई है। इधर इस संचालनालय को ग्वालियर से भोपाल स्थानांतरित करने का जबर्दस्त विरोध भी हो रहा है। ग्वालियर के स्थानीय नेता इसका विरोध कर रहे हैं। पिछले पांच सालों से इस संचालनालय को भोपाल स्थानांतरित करने की कवायद चल रही है, लेकिन सांसद और विधायकों के विरोध के कारण स्थानांतरित नहीं हो पा रही थी।

8 साल से नहीं स्थायी संचालक, ऐसे किया भोपाल स्थानांतरित

राज्य सरकार ने वर्ष 2011 के बाद से यहां संचालक की स्थायी पदस्थापना नहीं की। आयुक्त कोष एवं लेखा के पास इसका अस्थायी प्रभार रहा। वर्ष 2012 में ग्वालियर में पदस्थ संयुक्त संचालक के सेवानिवृत होने के बाद भोपाल प्रकोष्ठ में पदस्थ आरएस कटारा को ग्वालियर मुख्यालय का प्रभार मिला। वे शुरू में कुछ समय ग्वालियर में रहे। उसके बाद उन्होंने कार्यालय को भोपाल ले जाने के प्रयास शुरू कर दिए। वर्ष 2014 में नया सेटअप बनाया गया। 19 सितंबर 2014 को प्रकोष्ठ के लिए 50 और संचालनालय ग्वालियर के लिए 45 पद मंजूर हुए। इसके बाद भोपाल कार्यालय में तो पदों की पूर्ति कर ली गई, लेकिन ग्वालियर में किसी की नियुक्ति ही नहीं हुई।

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