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देश को दस साल तक चाहिए मजबूत निर्णायक सरकार

Update: 2018-10-25 16:42 GMT

नई दिल्ली/स्वदेश वेब डेस्क। राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजित डोभाल ने गुरुवार को कहा कि देश की विकास यात्रा के लिए आवश्यक है कि केंद्र में अगले दस साल के लिए एक स्थायी और निर्णायक फैसले लेने वाली सरकार बने। उन्होंने कहा कि देश गठबंधन या अस्थिर सरकारों का जोखिम नहीं उठा सकता।

डोभाल यहां सरदार बल्लभ भाई पटेल स्मृति व्याख्यान के तहत भारत की विकास यात्रा के विभिन्न पहलुओं पर अपने विचार व्यक्त कर रहे थे। उन्होंने कहा कि देश के राजनीतिक, आर्थिक और रणनीतिक उद्देश्यों को हासिल करने के लिए एक मजबूत सरकार की जरूरत है जो भारत को शक्तिशाली विश्व नेता बना सके। डोभाल के व्याख्यान का विषय था 'भारत 2030-रास्ते के अवरोध'। उन्होंने कहा कि लोकतंत्र में नेतृत्व वर्ग अक्सर लोक लुभावन नीतियों पर जोर देता है जबकि आवश्यकता इस बात की है कि फैसले राष्ट्रहित में किए जाएं। इसके लिए दृढ़ संकल्प शक्ति के साथ फैसले करने होते हैं।

राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार ने कहा कि भारत एक कमजोर देश के रुप में दुनिया में अपनी भूमिका नहीं निभा सकता। एक कमजोर देश को बहुत से मामलों में समझौता करना पड़ता है या झुकना पड़ता है। कमजोर देश की सरकार भी राष्ट्रीय हितों की तुलना में अपने आपको बचाये रखने को ज्यादा महत्व देती है।

अगले वर्ष होने वाले लोकसभा चुनाव के पहले डोभाल द्वारा दिए गए इस व्याख्यान का राजनैतिक संदेश यह था कि केंद्र में अस्थिर गठबंधन सरकार की बजाय एक मजबूत सरकार सत्ता में आनी चाहिए ताकि वर्ष 2030 तक भारत के रणनीतिक उद्देश्यों को हासिल किया जा सके।

डोभाल ने भारत और चीन की तुलना करते हुए कहा कि सन 1970 के दशक में भारत अपने पड़ोसी देश से आगे था लेकिन आज हम चीन के मुकाबले पीछे हो गए हैं। बराबरी पर आने के लिए जरूरी है कि एक मजबूत सरकार के हाथों देश की बागडोर हो। उन्होंने कहा कि पिछले चार वर्षों के दौरान देश में राजनीतिक इच्छाशक्ति का जागरण हुआ है जो एक शुभ संकेत है।

डोभाल ने कहा कि चीन की तरह भारत में भी निजी क्षेत्र की कंपनियों को देश के रणनीतिक उद्देश्यों को आगे बढ़ाने के लिए सक्रिय होना पड़ेगा। विदेश व्यापार के संबंध में हमारा प्रयास होना चाहिए कि आयातित सामग्री के साथ ही प्रौद्योगिकी का भी हस्तांतरण हो। 

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