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सांची की पैकिंग में नकली सामान की बिक्री

Update: 2016-11-09 00:00 GMT

भोपाल। मध्य प्रदेश में इन दिनों सांची का नकली घी और दूसरे उत्पाद बिक रहे हैं। निश्चित रूप से ये स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हैं। मोटे मुनाफे के लिए दुकानदार सांची के नाम से इन्हें जमकर बेच रहे हैं। सभी उत्पाद बिल्कुल सांची जैसी ही पैकिंग में हैं।

पशुपालन विभाग ने खाद्य एवं औषधि प्रशासन को कार्रवाई के लिए पत्र लिखा है। इधर, खाद्य एवं औषधि प्रशासन के संयुक्त नियंत्रक ने सभी जिलों के मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि वह नकली सांची उत्पादों पर कार्रवाई करवाएं।  पिछले दिनों खाद्य एवं औषधि प्रशासन ने पिपलानी में कार्रवाई कर सांची के डुप्लीकेट घी के पैकेट जब्त किए थे। जांच में घी अमानक पाया गया था। इस तरह की कई शिकायतें पशुपालन विभाग को प्राप्त हुई हैं। सांची उत्पाद भोपाल सहकारी दुग्ध संघ द्वारा बनाए जाते हैं। यह संघ पशुपालन विभाग के अधीन काम करता है।पशुपालन विभाग के अधिकारियों को सांची घी, लस्सी, श्रीखंड व सांची रसगुल्ला आदि के डुप्लीकेट बनने की शिकायतें मिली हैं। इन उत्पादों को बेचने वाले पैकिंग का निर्माण इस तरह करते हैं, जिससे वह पूरी तरह सांची के उत्पाद नजर आते हैं।

भ्रम में लोग इन उत्पादों को सांची का समझकर खरीद लेते हैं। कई बार घी व दूध डिटर्जेंट से बना होता है, जो सेहत के लिए खतरनाक साबित होता है। खाद्य एवं औषधि प्रशासन के संयुक्त नियंत्रक प्रमोद शुक्ला का कहना है कि हमने डुप्लीकेट उत्पादों पर कार्रवाई के लिए जिलों के सीएमएचओ को निर्देश दे दिए हैं।

भोपाल सहकारी दुग्ध संघ के अध्यक्ष धरमवीर वर्मा का कहना है कि डुप्लीकेट उत्पादों की शिकायत मिलने पर हम मुख्य कार्यपालन अधिकारी को जरूरी कार्रवाई के निर्देश देते हैं। बाहर बिक रहे नकली पदार्थों को पकडऩे की जिम्मेदारी खाद्य एवं औषधि प्रशासन की है।

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