नई दिल्ली | महिलाओं के खिलाफ बढ़ रहे अपराध को रोकने के लिए जस्टिस वर्मा कमेटी ने अपनी सिफारिशें गृह मंत्रालय को सौंप दी हैं। गृह मंत्रालय ने दिल्ली में पिछले महीने हुए गैंगरेप कांड के बाद बलात्कार और यौन शोषण से जुड़े कानून को सख्त बनाने के लिए जस्टिस वर्मा कमेटी का गठन किया था। गौरतलब है कि दिल्ली गैंगरेप कांड पर मचे बवाल के बाद रेप कानून को सख्त बनाने की मांग जोर-शोर से उठी है। महिलाओं के खिलाफ अपराध के लिए नए कानून पर जस्टिस वर्मा कमेटी ने अपनी रिपोर्ट सौंप दी है। इस मामले में उन्होंने कड़े कानूनों की वकालत भी की है।
रिपोर्ट सौंपने के बाद जस्टिस वर्मा ने कहा कि दिल्ली गैंगरेप कांड को लेकर लोग कंधे से कंधा मिलाकर खड़े हुए। उनका शांतिपूर्ण प्रदर्शन भावुक कर देने वाला था। उकसाने के बावजूद लोगों ने शांति बनाए रखी। उन्होंने कहा कि गैंगरेप के विरोध में हुआ यह आंदोलन एक सीख है, और इस आंदोलन से युवा पीढ़ी ने हम बुजुर्गों को भी बड़ी सीख दी है। उन्होंने बताया कि इस नए कानून के लिए न सिर्फ भारत के समाज के सभी वर्गों से हमें सुझाव मिले, बल्कि विदेशों से भी बहुत लोगों ने हमारे पास सुझाव भेजे, जिनमें ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी भी शामिल है। उन्होंने कहा कि हमें करीब 80,000 सुझाव मिले और हमने सभी को पढ़ा। उन्होंने बताया कि यह रिपोर्ट 29 दिन में तैयार की गई है।