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राष्ट्र विरोधी प्रोपेगेंडा बर्दाश्त नहीं

राष्ट्र विरोधी प्रोपेगेंडा बर्दाश्त नहीं
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नई दिल्ली। केन्द्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री एम. वेंकैया नायडू ने शुक्रवार को यहां कहा कि कुछ शक्तियों का सरकार विरोधी प्रोपोगेंडा करना आदत बन गई है| इसमें कोई आपत्ति नहीं है| हमारे पास उससे लड़ने के कई तरीके हैं लेकिन सरकार विरोधी प्रोपेगंडा के नाम पर राष्ट्र विरोधी प्रोपेगेंडा लाना किसी भी तरह से बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।

विज्ञान भवन में ऑल इंडिया रेडियो (एआईआर) के पुरस्कार वितरण समारोह में अपना वक्तव्य रखते हुए नायडू ने कहा कि इस तरह के प्रोपेगेंडा से असल में राष्ट्रहित प्रभावित होते हैं। उन्होंने कहा कि कुछ लोग कश्मीर और अन्य जगहों का हवाला देकर एक नकारात्मक तस्वीर तैयार करना चाहते हैं।
उन्होंने कहा कि ऐसे ही असहिष्णुता की बात की जाती है जबकि वह लोग जनता द्वारा दिए गए मत के खिलाफ असहिष्णु बने हुए हैं। उन्होंने कहा कि आज देश में स्वतंत्रता की बात की जाती है। लोकतंत्र में नियम और कानून होते हैं जिनका आपको पालन करना होता है।

उन्होंने कहा कि आज कुछ लोग मीडिया को ‘गैग’ किए जाने की बात करते हैं लेकिन केवल एक ही समय था जब मीडिया को ‘गैग्ड’ किया गया था वह थी इमरजेंसी । उस समय कुछ लोगों को बिना किसी कारण के जेल में डाल दिया गया था।

उन्होंने कहा कि कोई व्यक्ति किसी मीडिया संस्थान से है। इसका मतलब यह नहीं है कि नियम उस पर लागू नहीं होंगे। कोई भी व्यक्ति इस बात की ‘इम्यूनिटी’ नहीं ले सकता कि वह मीडिया पर्सन है। यह सरकार पूरी तरह से मीडिया की स्वतंत्रता और ‘फ्रीडम ऑफ एक्सप्रेशन’ की समर्थक है। उन्होंने पशुधन पर बिक्री संबंधी प्रतिबंध को लेकर मीडिया के रवैये पर प्रश्न चिह्न लगाते हुए कहा कि ऐसा फैलाया जा रहा है कि सरकार देश को शाकाहारी बनाना चाहती है। वह स्वयं भी मांसाहारी हैं और अंडा भी खाते हैं और मुर्गी भी लेकिन उस पर भी चर्चा की जा रही है, बहस की जा रही है। नायडू ने कहा कि ऑल इंडिया रेडियो का आज सबसे महत्वपूर्ण प्रोग्राम ‘मन की बात’ बन गया है जो राष्ट्रीय अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर जा रहा है।

Updated : 17 Jun 2017 12:00 AM GMT
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