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यातायात सुधार के लिए जनचेतना जरूरी: डीजीपी

14 हजार आरक्षकों की होगी भर्ती

प्रत्येक जिले में तैनात होगा वैज्ञानिक अधिकारी
भिण्ड। जनचेतना के माध्यम से यातायात व्यवस्था को और अधिक चुस्त और दुरुस्त बनाया जाएगा। जिसमें नागरिकों की भूमिका आवश्यक है। यातायात पुलिस बल की वृद्धि की दिशा में 14 हजार सिपाहियों की भर्ती की जाएगी। जिससे यातायात के बेहतर प्रबंध किए जा सकेंगे। यह बात पुलिस महानिदेशक सुरेन्द्र सिंह ने भिण्ड में पुलिस नियंत्रण कक्ष में पत्रकारों से चर्चा के दौरान कही।
उन्होंने कहा कि यातायात व्यवस्था को ओर अधिक प्रभावी बनाने के लिए चालकों में जनचेतना जाग्रत करनी होगी। लोकायुक्त पुलिस में दर्ज प्रकरणों में समय-सीमा के भीतर कार्रवाई होनी चाहिए। पुलिस महकमा में अच्छे काम करने वाले अधिकारी और कर्मचारियों को पुरस्कृत किया जाए। साथ ही लापरवाही बरतने वाले अमले पर कार्रवाई अवश्य होनी चाहिए। गंभीर मामलों के अपराधों में विवेचना में समय लगता है। फिर भी इन विवेचनाओं को समय-सीमा में पूर्ण करने की पहल की जाए।
पुलिस महानिदेशक सुरेन्द्र सिंह ने कहा कि विगत वर्ष की अपेक्षा इस वर्ष अपराधों की स्थिति बराबर रही है। चालू वर्ष में भी ओर कमी लाने की प्रयास किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि मानव अधिकारों के प्रति शिकायतों को गंभीरता से लिया जाए। इस दिशा में पुलिस अधिकारी सजग रहकर कार्रवाई सुनिश्चित करें। डीजीपी ने कहा कि नगर और ग्राम रक्षा समितियों को सक्रियता से पुलिस का सहयोग करना चाहिए। यह समितियां कार्यकर्ता के रूप में काम कर रही है। उन्होंने कहा कि डीआईजी स्तर के करीबन 38 पद स्वीकृत है। इन पदों पर 13 अधिकारी पदस्थ है। शेष पदों को भरने के लिए योग्य अधिकारियों की पदस्थापना की जाएगी। उन्होंने कहा कि मप्र पुलिस बल में विगत छह वर्षों के अंतराल में 32 हजार की वृद्धि की गई है। इसीप्रकार साढ़े तीन हजार पुलिस कर्मियों की भर्ती की योजना शासन को भेजी गई है। जिसकी स्वीकृति मिलने पर बल की कमी को दूर किया जाएगा। यह भर्ती व्यापम के माध्यम से कराई जाएगी। साथ ही भर्ती में पूरी पारदर्शिता रखी जाएगी। उन्होंने कहा कि एफएसएल जांच के लिए सागर के अलावा भोपाल, इन्दौर एवं ग्वालियर फोरेंसिक लेब खोलने की कार्रवाई चल रही है।
इसके अलावा प्रदेश के सभी जिलो में वैज्ञानिक अधिकारी तैनात करने की कार्रवाई भी जारी है। उन्होंने कहा कि महिलाओं के विरुद्ध घटित होने वाले अपराधों की दिशा में हर जिले में महिला सेल बनाए गए है। इन सेलों के माध्यम से महिलाओं पर होने वाले अपराधों की विवेचना में छह हजार प्रकरणों का निराकरण किया जा चुका है। जिसमें फासी से लेकर आजीवन तक की सजाएं हुई है। उन्होंने कहा कि महिलाओं को पुलिस की भर्ती में 33 प्रतिशत आरक्षण देने की व्यवस्था सुनिश्चित की गई है। जिससे स्वत: ही महिला पुलिस बल की संख्या में इजाफा होगा। उन्होंने कहा कि क्षेत्र की पुलिस की सक्रियता जनता पर निर्भर करती है। जिसमें जनता भी आगे आकर पुलिस का सहयोग करें। तब अपराधों पर अधिक से अधिक नियंत्रण पाया जा सकता है। उन्होंने कहा कि पुलिस बल में फिट रहने के लिए शरीर और दिमाग दोनों स्वस्थ रहें इसके लिए कम से कम विभागीय अमले को एक घण्टे का समय देना चाहिए।
पुलिस महानिर्देशक ने कहा कि पुलिस कर्मियों के एक दिवसीय अवकाश के मामले में शासन स्तर पर समीक्षा की जा रही है। इसके बाद उचित निर्णय लिए जाएंगे। उन्होंने कहा कि सिपाहियों के लिए प्रतिवर्ष पांच हजार मकान बनाने का लक्ष्य निर्धारित किया गया है। जिसके अंतर्गत 10 हजार 500 आवास बनाए जा चुके है। अगले साल 25 हजार आवास ओर बनाएंगे। इस दिशा में हुडको से स्वीकृति मिल चुकी है। उन्होंने कहा कि इन मकानों की जमीन के लिए बेशकीमती विभागीय भूखण्डों का उपयोग किया जाएगा। उन्होंने कहा कि उज्जैन में सिंहस्थ का आयोजन अप्रैल में प्रारंभ होगा जिसकी सुरक्षा व्यवस्था के पुख्ता इंतजाम किए जा रहे हंै पूरे सुरक्षित माहौल में सिंहस्थ मेला आयोजित होगा।
डीजीपी ने ली चंबल रेंज के पुलिस अधिकारियों की बैठक
प्रदेश के पुलिस महानिदेशक सुरेन्द्र सिंह ने कहा है कि मप्र पुलिस कानून व्यवस्था को ओर अधिक प्रभावी बनाने की दिशा में काम कर रही है। जिसके अंतर्गत पुलिस समाज को बेहतर सुविधाएं देने की पहल करें। जिससे पुलिस और जनता में समन्वय की भावना जाग्रत होगी। साथ ही अपराधों पर नियंत्रण लगेगा। वे आज जिला मुख्यालय भिण्ड के नवीन पुलिस कंट्रोल रूम के सभागार में चंबल रेंज के पुलिस अधिकारियों की बैठक को संबोधित कर रहे थे। बैठक में चंबल रेंज के आईजी उमेश जोगा, आईजी एसएएफ आशुतोष राय, जिलाधीश इलैया राजा टी, पुलिस अधीक्षक भिण्ड नवनीत भसीन, दतिया इरशाद बली, मुरैना विनीत खन्ना, श्योपुर सुनील पाण्डेय, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अमृत मीणा, आईजी कार्यालय के उप पुलिस अधीक्षक राकेश संखवार, हैडक्वार्टर डीएसपी जीपी शाक्य, महिला सेल के डीएसपी आरएस परमार, सीएसपी भिण्ड आरके छारी, एसडीओपी अटेर डीएस बैश्य, मेहगांव विमल जैन, गोहद प्रवीण अष्ठाना, लहार अवनीश बंसल, प्रशिक्षु डीएसपी रितु केबरे, रक्षित निरीक्षक अरविन्द दांगी एवं अन्य पुलिस अधिकारी उपस्थित थे।
डीजीपी सुरेन्द्र सिंह ने कहा कि कानून व्यवस्था को ध्यान में रखते हुए अपराधों पर नियंत्रण करने की दिशा में निरंतर प्रयास किए जाए। जिनके अंतर्गत आम लोगों से प्राप्त होने वाली शिकायतों का निदान तत्परता पूर्वक किया जाए। उन्होंने कहा कि इस दिशा में पुलिस और जनता के बीच समन्वय की भावना जाग्रत करने की दिशा में थाने स्तर पर शिविरों का आयोजन किया जा रहा है। जिसके बेहतर परिणाम प्राप्त हो रहे है। उन्होंने कहा कि चंबल रेंज के अंतर्गत घटित होने वाले अपराधों में कमी लाने की दिशा में पुलिस जांच की कार्रवाई समय पर सुनिश्चित की जाए। इस दिशा में समय-सीमा में जांच कार्रवाईयों को पूर्ण कराने की कार्रवाई होनी चाहिए। वाहनो की चोरी की दिशा में कानून का पालन सुनिश्चित किया जाकर प्रकरणों का निराकरण किया जाए। साथ ही चोरी की गई वस्तुएं भी बरामद कराई जाएं।
बैठक में चंबल रेंज के आईजी उमेश जोगा ने रेंज के भिण्ड, मुरैना, श्योपुर और दतिया जिलों में पुलिस के माध्यम से किए जा रहे कार्यों का व्यौरा प्रस्तुत किया। साथ ही कानून व्यवस्था की स्थिति से अवगत कराया। आईजी एसएएफ आशुतोष राय ने पुलिस के सहयोग के लिए चंबल रेंज के सभी जिलों में एसएएफ की कंपनी के अंतर्गत उपलब्ध कराए गए बल के बारे में अवगत कराया।
जिलाधीश इलैया राजा टी ने बैठक के प्रारंभ में डीजीपी को अवगत कराया कि भिण्ड जिले में कानून व्यवस्था बनाए रखने की दिशा में पुलिस अधीक्षक नवनीत भसीन से समन्वय स्थापित कर विभिन्न प्रकार की कार्रवाईयों को अंजाम दिया जा रहा है।

Updated : 4 Feb 2016 12:00 AM GMT
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