आतंकी घटनाओं के पीछे अंतर्राष्ट्रीय साजिशें : मिश्र

ललित कला और पत्रकारिता संस्थान के संयुक्त तत्वावधान में हुई विचार गोष्ठी
झांसी। दुनिया के विभिन्न हिस्सों में होने वाली आतंकी घटनाओं के पीछे अंतर्राष्ट्रीय साजिशें ही काम कर रही हैं। अंतर्राष्ट्रीय हथियार लाबी ही अपने मुनाफे के लिए आतंकवादियों को पाल और पोस रही है। अमेरिका जैसे देशों की दोहरी नीतियां भी किसी न किसी रूप से आतंकवाद को बढ़ावा दे रही हैं। यह विचार बुंदेलखंड विश्वविद्यालय के ललित कला संस्थान और पत्रकारिता एवं जनसंचार संस्थान के संयुक्त तत्वावधान में शुक्रवार को आयोजित विचार संगोष्ठी में वरिष्ठ पत्रकार और डीएलए, झांसी के संपादक बंशीधर मिश्र ने व्यक्त किए। यह गोष्ठी ललित कला संस्थान में आयोजित की गई। उन्होंने युवाओं का आहवान किया कि वे अध्ययन और ज्ञान के ताकत की बदौलत अंतर्राष्ट्रीय साजिशों को समझें और उनसे उत्पन्न चुनौतियों से निपटने की खातिर देश में उपयुक्त वातावरण बनाएं। श्री मिश्र ने पठानकोट में हुए आतंकी हमले में शहीद हुए जवानें को श्रद्धांजलि देने के लिए ललित कला संस्थान द्वारा आयोजित चित्रकला प्रदर्शनी का भी शुभारंभ कराया। उन्होंने कलाकृतियों का बारीकी से अवलोकन भी किया।
श्री मिश्र ने इस बात पर चिंता जताई कि आज भी दुनिया के कई देशों के लोग भुखमरी की समस्या झेल रहे हैं लेकिन दुनिया के विकसित देशों को उनकी चिंता नहीं है। सभी विकसित देशों में अपने यहां निर्मित हथियारों को बेचने की होड़ मची है। आतंकवाद पर अमेरिका की दोहरी नीतियों को भी उन्होंने रेखांकित किया। उन्होंने इराक, सीरिया और एशिया के विभिन्न हिस्सों में पिछले तीन दशकों में हुई आतंकवाद और युद्ध की घटनाओं के पीछे विकसित राष्ट्रों की स्वार्थपरक नीतियों को ही प्रमुख कारण बताया। उन्होंने युवाओं का आहवान किया कि वे पूरी संजीदगी से अध्ययन कर यह समझने की कोशिश करें कि वास्तव में आतंकवाद के कारण क्या हैं और कैसे इनसे उत्पन्न चुनौतियों से निपटा जा सकता है। उन्होंने पूंजीवाद से उत्पन्न विद्रूपताओं का भी उल्लेख किया। यह भी रेखांकित किया कि कैसे दुनियाभर के सूचनातंत्र पर पूंजीवादी ताकतों ने कब्जा जमा रखा है। वे केवाल उन सूचनाओं को परोस रहे जो उनके हित में हैं। दुनिया के गरीब देशों की लाचारगी और मुफलिसी से त्रस्त जनता से उनका कोई सरोकार नहीं है। इस मौके पर जनसंचार एवं पत्रकारिता संस्थान के प्रमुख डा. सीपी पैन्यूली, ललित कला संस्थान की समन्वयक डा. श्वेता पाण्डेय, समाजकार्य विभाग के डा. मो. नईम ने भी विचार रखे। इस गोष्ठी में विद्यार्थियों शिखा द्विवेदी, तसनिया फारूखी, शिवमोहन यादव, अरूणिता श्रीवास्तव, शिब्तैन कादरी, संस्कृति गिरवासिया, प्रियंका रिछारिया ने भी विचार रखे। इनमें से अरूणिता श्रीवास्तव, शिब्तैन कादरी और संस्कृति को पुरस्कुृत किया गया। बी आर्क के विद्यार्थी आकाश सोनकर ने गीत की प्रस्तुति से शहीदों को श्रद्धांजलि दी। कार्यक्रम का संचालन उमेश शुक्ल ने किया। इस कार्यक्रम में सतीश साहनी, डा. सुनीता, डा. अजय कुमार गुप्ता, बृजेश सिंह परिहार, दिलीप कुमार, जयराम कुटार, सुनील साहू, उमेश कुमार, जय सिंह, अभिषेक कुमार, डा केएल सोनकर, आर्किटेक्ट संदीप कुमार मिश्र, आ. प्रदीप यादव, हरी मिश्र, दिनेश प्रजापति समेत अनेक लोग और विद्यार्थी उपस्थित रहे। विचार गोष्ठी से पूर्व मुख्य अतिथि श्री मिश्र और शिक्षकों ने कला संस्थान में आयोजित चित्रकला प्रदर्शनी का अवलोकन किया। उन्होंने विद्यार्थियों की हौसला आफजाई भी की। आभार कला संस्थान की समन्वयक डा. श्वेता पाण्डेय ने बताया कि यह कला प्रदर्शनी विद्यार्थियों और आम जन के अवलोकन के लिए अगले तीन दिन तक कार्यालय समय में जारी रहेगी।

Next Story