ब्याज दरों में 0.25 प्रतिशत की कटौती करेगी रिजर्व बैंक

नई दिल्ली। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) 3 मई को पेश होने वाली सालाना मौद्रिक नीति समीक्षा में ब्याज दरों में 0.25 फीसद की कटौती कर सकता है। मुद्रास्फीति में कमी और तेल, सोने की कीमतों और व्यापार घाटे में हाल में आई गिरावट के मद्देनजर दरों में कटौती की उम्मीद है। बार्कलेज की एक रिपोर्ट में कहा गया कि 2013 के मध्य तक रिजर्व बैंक दरों में 0.50 फीसदी तक की कटौती कर सकता है। 3 मई की बैठक में 0.25 फीसदी की कटौती की संभावना है। मार्च में थोक मूल्य सूचकांक आधारित मुद्रास्फीति में गिरावट से ब्याज दरों में कटौती की संभावना बनी है। सालाना आधार पर मुद्रास्फीति घटकर 6 फीसदी रह गई। जिन्सों की कीमतों में हाल में हुई गिरावट के संबंध में बार्कलेज ने कहा कि यदि सोने और कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट जारी रही तो तत्काल और नजर आने वाला प्रभाव चालू खाते का संतुलन होगा, जिसमें 2013-14 में सकल घरेलू उत्पाद का लगभग एक फीसदी तक सुधार आ सकता है। भारत का व्यापार घाटा मार्च में दो साल के सबसे निचले स्तर 10.3 अरब डॉलर पर आ गया। यह जनवरी-फरवरी 2013 में औसतन 17.9 अरब डॉलर था जबकि अप्रैल 2012-फरवरी 2013 के बीच औसतन 16.6 अरब डॉलर था। आर्थिक बढ़ोतरी को प्रोत्साहन के लिए रिजर्व बैंक ने 18 मार्च की मौद्रिक नीति समीक्षा में रेपो दर 0.25 फीसदी घटाकर घटकर 7.50 फीसदी कर दी थी।