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ग्वालियर मेला में लगे "मौत का कुंआ" में 29 वर्षीय "बुलेट रानी" ने गाड़ी चलाकर जीता सबका दिल

बुलेट बाइक पर सवार होकर लगभग 25 फीट गहरे कुएं से चक्कर-दर-चक्कर ऊपर दर्शकों के करीब पहुंचती हैं पूजा

ग्वालियर मेला में लगे मौत का कुंआ में 29 वर्षीय बुलेट रानी ने गाड़ी चलाकर जीता सबका दिल
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ग्वालियर। चंबल क्षेत्र में आयोजित किया जाने वाला ग्वालियर व्यापार मेला उत्तर भारत का एक बड़ा व्यापार मेला है। इसकी शुरुआत 1905 में ग्वालियर के तत्कालीन राजा महाराज माधवराव सिंधिया (प्रथम) ने की थी। ग्वालियर मेला को एशिया के बड़े व्यापार मेला में भी गिना जाता है। जो की प्रत्येक वर्ष दिसंबर माह के अंत से लगना प्रारम्भ हो जाता है। ग्वालियर व्यापर मेले में इस वर्ष मौत के कुएं में एक 29 वर्षीय युवती "बुलेट रानी"अपनी कला का प्रदर्शन करती नजर आयी।


ग्वालियर व्यापार मेले में इन दिनों एक युवती का हुनर देखने के लिए सैलानी पहुंच रहे हैं। मौत के कुंए में बुलट से फर्राटे भरती युवती को देख दर्शक दांतों तले अंगुली दबा रहे हैं। सम्भवत: यह पहली युवती है जो मौत के कुए में बुलेट गाड़ी को दौड़ा रही है। दरअसल, ग्वालियर व्यापार मेले में इटावा निवासी महेश गौर व पिंटू चौहान द्वारा शक्ति मारूती कार मनोरंजन के नाम से "मौत का कुआं" का संचालन किया जा रहा है। जिसमें गुजरात के एक छोटे से गाँव की 29 साल की पूजा बुलेट बाइक पर सवार होकर लगभग 25 फीट गहरे कुएं से चक्कर-दर-चक्कर ऊपर दर्शकों के करीब पहुंचती है तो नजारा देख हर कोई अचंभित रह जाता है। आगे-पीछे कार हो या दूसरी बाइक, उसे फर्क पड़ता दिखाई नहीं देता। बिना हेलमेट या सुरक्षा के कभी हैंडल छोडक़र बाहें फैलाए तो कभी बाइक पर लेटकर हाथ जोड़ अभिवादन करते हुनर का प्रदर्शन करती पूजा को देखने दर्शक दंग हैं। इस कला से पूजा ने सभी दर्शकों का दिल जीत लिया। बुलेट के अलावा कार से भी बेहतरीन प्रदर्शन करती हुई नजर आती हैं।

घरवालों के मना करने पर भी चलाती हैं बाइक


पूजा बताती है कि उन्होंने 17 साल की उम्र में बाइक दौड़ाना सीखा। इसके बाद उन्होंने मौत के कुंए में बाइक चलाना सीखा और आज वह अपना हुनर दिखा रही हैं। पूजा ने बताया कि उनके घर वालों ने यह काम करने से मना किया। लेकिन यह मेरा शौक है। मेहनताना की बात पर पूजा कहती है कि मेले के दौरान उन्हें 20 से 25 हजार तक मिल जाते हैं।

Updated : 4 Jan 2023 7:52 AM GMT
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City Desk

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