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विदेश में है निर्भया का दोस्त, दरिंदों की फांसी पर बोला-आज मिला सुकून

विदेश में है निर्भया का दोस्त, दरिंदों की फांसी पर बोला-आज मिला सुकून
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गोरखपुर। निर्भया के गुनहगारों के फांसी पर लटकने से गोरखपुर के वरिष्‍ठ अधिवक्‍ता भानू प्रकाश पांडेय के बेटे और निर्भया के दोस्‍त रहे अवनींद्र को बड़ा सुकून मिला है। वह सात साल तीन महीने से इस घड़ी का इंतजार कर रहे थे। अवनींद्र फिलहाल अपने परिवार के साथ विदेश में रहकर नौकरी कर रहे हैं।

उनकी गवाही निर्भया केस के गुनहगारों को फांसी के फंदे तक पहुंचाने में सबसे अहम साबित हुई। वह इस कांड के इकलौते चश्‍मदीद गवाह थे। 16 दिसम्‍बर 2012 की उस खौफनाक रात की याद आज भी अवनींद्र के जेहन में कायम है। अवनींद्र के पिता भानू प्रकाश पांडेय भी कहते हैं कि वह उस वीभत्स घटना भूल नहीं पाते। फांसी पर लटके दरिंदों ने जो कुकृत्‍य किया था उसके लिए इससे कम कोई सजा हो ही नहीं सकती थी।

उस रात, बस में लिफ़ट देने के बाद दरिंदों ने निर्भया और अवनींद्र का सारा सामान लूट लिया। उनको जमकर मारा पीटा। इसके बाद निर्भया के साथ हैवानियत की। दरिंदे दोनों को चलती बस से सड़क पर फेंक कर चले गए। उन्‍होंने शायद सोचा होगा कि बुरी तरह घायल दोनों भीषण ठंड में सड़क पर पड़े-पड़े मर जाएंगे लेकिन मदद मिली। दोनों को अस्‍पताल पहुंचाया गया। जब इस घटना की खबर सुर्खियों में आई तो पूरा देश उबल पड़ा। निर्भया के साथ हुई दरिंदगी ने लोगों को गुस्‍से से भर दिया। लोग सड़कों पर उतर आए।

उधर, अस्‍पताल में निर्भया की हालत बिगड़ती चली गई। बेहतर इलाज के लिए उन्‍हें सिंगापुर ले जाया गया जहां अंतत: वह जिंदगी की जंग हार गई। निर्भया के गुनहगारों की फांसी टलवाने के लिए उनके वकील ए.पी.सिंह द्वारा हाईकोर्ट से लेकर सुप्रीम कोर्ट तक रात भर की गई कोशिशों और दांव पेंच पर गोरखपुर के लोगों भी नज़र रही। इस बीच लोग कई बार इस आशंका से भर गए कि कहीं एक बार फिर गुनहगारों की फांसी टल न जाए। सात साल से इंसाफ का इंतजार कर रही निर्भया, उनकी माता-पिता, अवनींद्र और उनके पिता के शुक्रवार की सुबह इंसाफ का संदेशा लेकर आई। चारों गुनहगारों के एक साथ फांसी के फंदे से लटकने से देश को झकझोर देने वाले इस केस के अहम किरदार अब काफी सुकून महसूस कर रहे हैं।

Updated : 20 March 2020 8:40 AM GMT
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Swadesh Digital

स्वदेश वेब डेस्क www.swadeshnews.in


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