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एक ही परिवार के 11 लोगों के मिले शव

एक ही परिवार के 11 लोगों के मिले शव
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नई दिल्ली । राजधानी दिल्ली में रविवार सुबह कुछ ऐसा हुआ, जिसने दिल्ली नहीं बल्कि पूरे देश को झकझोर कर रख दिया। उत्तरी जिले के बुराड़ी इलाके में एक ही परिवार के 11 लोगों की बेहद संदिग्ध हालात में मौत हो गई। घटना में परिवार के दो बच्चों समेत नौ लोग पहली मजिल पर छत के लोहे के जाल से लटके मिले, जबकि एक महिला वहीं पास में दरवाजे की ग्रिल से लटकी मिली। परिवार की सबसे बुजुर्ग महिला अपने कमरे में बैड के नीचे फर्श पर मृत अवस्था में पड़ी मिली। शुरुआती जांच के बाद पुलिस की जांच सुसाइड की ओर इशारा कर रही है। हालांकि फिलहाल दिल्ली पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी मामले पर अभी कुछ भी खुलकर नहीं बोल रहे हैं। वहीं सूचना मिलते ही मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल, सांसद मनोज तिवारी समेत अन्य लोग मौके पर पहुंचे।

पुलिस के अनुसार नारायण देवी (78) परिवार के साथ 137/5/2, गली संख्या-4ए, संतनगर बुराड़ी में रहती थी। परिवार में तीन बेटे व दो बेटी थे। बड़ा बेटा दिनेश व उसका परिवार राजस्थान के कोटा में रहता है, जबकि एक बेटी सुजाता भाटिया उर्फ बिल्लो पानीपत में परिवार के साथ रहती है। दिल्ली में नारायण देवी के साथ उनके दो बेटे भुवनेश भाटिया उर्फ भूपी (46) और ललित भाटिया (42) और एक विधवा बेटी प्रतिभा भाटिया (58) अपने-अपने परिवार के साथ रहते थे। भूपी के परिवार में पत्नी सविता (42), दो बेटी नीतू (24), मीनू (22) और एक बेटा धीरेंद्र उर्फ ध्रुव (13), वहीं ललित के परिवार में पत्नी टीना (38) व एक बेटा दुष्यंत उर्फ शिबू (13) के अलावा प्रतिभा की बेटी प्रियंका (30) रहती थी।

रात में पड़ोसी ने देखा था परिवार को घूमते हुए

करीब 125 गज के मकान में ग्राउंड फ्लोर पर भूपी परचून व दूध की दुकान चलाता था, जबकि इसके बराबर में ललित की लकड़ी की दुकान है। रात 11.30 बजे तक पड़ोसियों ने परिवार के सदस्यों को गली में घूमते हुए देखा था।

पुलिस के अनुसार सुबह करीब 7.00 बजे इनके पड़ोसी गुरचरण ने देखा कि अभी तक भूपी ने दुकान नहीं खोली थी। उनकी दूध की क्रेट बाहर रखी हुई थी। गुरचरण ने दूसरे पड़ोसी कुलदीप को बताया तो उनको अटपटा लगा। दोनों ने घर में जाने का फैसला किया। दरवाजा खुला हुआ था। दोनों ऊपर पहुंचे तो उनके होश उड़ गए। पूरा परिवार पहली मंजिल पर दूसरी मंजिल के लैंटर पर लगे लोहे के जाल से फंदे से लटका हुआ था। कुलदीप ने 7.30 बजे मामले की सूचना पुलिस को दी। कुछ ही देर बाद पुलिस मौके पर पहुंच गई।

देखते ही देखते दिल्ली पुलिस के सभी वरिष्ठ अधिकारी मौके पर पहुंच गए। लोगों की भारी संख्या में भीड़ इक्ट्ठा हो गई। स्पेशल सीपी, ज्वाइंट सीपी समेत वरिष्ठ अधिकारी मौके पर पहुंचे। पुलिस की जांच में नारायण देवी का शव उनके कमरे में बैड के पास फर्श पर पड़ा मिला। वहीं प्रतिभा का शव कमरे से बाहर निकलते ही दरवाजे की ग्रिल पर फंदे से लटका हुआ मिला।

सबके हाथ पैर-बंधे

दूसरी ओर बाकी सभी नौ सदस्यों के शव जाल में फंदे से चुन्नी व केबल के तार से लटके थे। सभी के मुंह पर डॉक्टर टेप, कुछ के कपड़ा, इसी तरह आंखों पर कपड़ा व डॉक्टर टेप, बांधने के अलावा लगभग सभी के हाथ बंधे थे। बस भूपी व प्रतिभा के हाथ खुले हुए थे। पुलिस को शव के पास से एक स्टूल भी बरामद हुआ है।

घर का सारा सामान, जैसे का तैसा मिला। शवों के पास से रुई का पैकेट, डॉक्टर टेप के रैपर व अन्य सामान बरामद हुआ है। घर की रसोई में भी बर्तन धुले हुए मिले हैं। शुरुआती जांच के बाद पुलिस अधिकारी सभी 11 सदस्यों की मौत के कारणों तक नहीं पहुंच पाए थे। उनका कहना था मौत के सही कारणों का पता पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद ही चलेगा। पुलिस ने सभी शवों को सब्जी मंडी अस्पताल के शवगृह में सुरक्षित रखवा दिया है। सोमवार या मंगलवार को बोर्ड के द्वारा पोस्टमार्टम कराया जाएगा।

Updated : 1 July 2018 9:47 PM GMT
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Swadesh Digital

स्वदेश वेब डेस्क www.swadeshnews.in


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