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कर्मचारी बोले, क्या अब विवि को कार्यपरिषद सदस्य चलाएंगे

कर्मचारी बोले, क्या अब विवि को कार्यपरिषद सदस्य चलाएंगे
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मामला जीवाजी विवि के कर्मचारियों के स्थानांतरण का ।


ग्वालियर । जीवाजी विश्वविद्यालय में विगत दिवस आयोजित हुई कार्यपरिषद की बैठक में कार्यपरिषद सदस्य हुकुमसिंह यादव ने लेखा विभाग में कार्यरत कर्मचारी सोबरन सिंह सिकरवार, वीरेन्द्र जैन एवं राजनीति शास्त्र अध्ययनशाला में पदस्थ दीपक वर्मा के स्थानातरण का मामला उठाया था। इस पर अन्य अधिकारियों एवं सदस्यों ने भी अपनी मुहर लगा दी थी। इसके चलते बुधवार को कर्मचारी लामबंद होकर कुलसचिव प्रो. आनंद मिश्रा से मिलने पहुंचे और कहा कि कार्यपरिषद सदस्यों के रिश्तेदार जबरन काम कराने के लिए दबाव बनाते हैं, तो क्या अब कुलपति और कुलसचिव की जगह कार्यपरिषद सदस्य विश्वविद्यालय को चलाएंगे। इस पर कुलसचिव ने कहा कि यह मामला कार्यपरिषद का है। मुझे इस संबंध में कोई लेना-देना नहीं है। यह सुनकर कर्मचारी सोबरन सिंह ने बताया कि मैं तीन-चार दिन पहले कुलपति सचिवालय पहुंचा तो वहां यू.एस. सालसेकर ने कहा कि तुम्हारे विरुद्ध गुमनाम शिकायत आई है, उसे कुलसचिव के पास भेज दिया है। इस पर कुलसचिव ने तत्काल कुलपति के निज सहायक को फोन लगाकर पूछा कि बताओ तुमने मुझे कब शिकायत भेजी थी, यहां जबरन मुझे क्यों उलझाया जाता है। इस पर श्री सालसेकर चुप्पी साध गए और बोले कि मैंने आपको नहीं कार्यालय में पत्र पहुंचाने के लिए कहा था। इसके बाद कर्मचारियों ने संघ के माध्यम से कार्यपरिषद सदस्यों की शिकायत राज भवन और उच्च शिक्षा मंत्री से करने की चेतावनी दी। इस दौरान भौतिक अध्ययनशाला के शिक्षक प्रो. आर.के. तिवारी, प्रो. डी.सी. तिवारी, कर्मचारी वीरेन्द्र जैन भी मौजूद थे।

पहले निकाला टेण्डर, अब विवादों के घेरे में ।

जीवाजी विश्वविद्यालय ने प्री एण्ड पोस्ट सहित अन्य कार्यों के लिए निकाला गया टेण्डर विवादों में घिरने लगा है क्योंकि विवि ने इंटीग्रेटेड यूनिवर्सिटी मैनेजमेंट सिस्टम का टेण्डर 16 तारीख को ही जारी कर दिया और 17 दिसम्बर से दस्तावेज अपलोड करने की तिथि निर्धारित कर दी। इसके बाद 19 नवम्बर को विशेष कार्यपरिषद की बैठक हुई, जिसमें प्री एण्ड पोस्ट का टेण्डर देने का प्रस्ताव रखा गया। चूंकि अधिकारियों ने कुछ कार्यपरिषद सदस्यों से मिलकर पहले ही स्क्रिप्ट तैयार कर ली थी, इसलिए टेण्डर देने की वजाय उसे निरस्त कर दिया, जबकि दूसरे कार्यपरिषद सदस्यों को टेण्डर निकाले जाने की भनक तक नहीं लगने दी गई। इस पर यह मामला विवादों में आ गया है।

शिकायतें करो शून्य, लगाई फटकार ।

जीवाजी विश्वविद्यालय में लगातार बढ़ रही मुख्यमंत्री हैल्पलाइन की शिकायतों को लेकर बुधवार को उच्च शिक्षा विभाग के ओएसडी डी.पी. सिंह ने विवि के अधिकारियों को फटकार लगाई। उन्होंने भोपाल में आयोजित हुई बैठक में कहा कि छात्रों को परेशानी क्यों हो रही है। इस संबंध में उन्होंने अधिकारियों से जानकारी ली तो उन्होंने बताया कि समाधान शिविर में कई छात्र-छात्राओं के प्रकरणों का निराकरण हो चुका है, जो छात्र संतुष्ट हैं, वे खुद शिकायतें क्लोज कर रहे हैं। इस पर उन्होंने कहा कि दो जनवरी को मुख्यमंत्री समाधान आॅनलाइन की बैठक लेंगे। उसके पहले ही निराकरण करके रिपोर्ट प्रस्तुत करें। बैठक में जीवाजी विवि की तरफ से उप कुलसचिव डॉ. राजीव मिश्रा, अरुण चौहान, सहायक कुलसचिव अभयकांत मिश्रा, सांख्यिकी अधिकारी प्रदीप शर्मा एवं एच.के. द्विवेदी शामिल थे।

Updated : 21 Dec 2017 12:00 AM GMT
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