आबकारी कांस्टेबल भर्ती में पकड़े चार मुन्नाभाई, माइक्रोफोन के जरिये कराते थे नकल

मथुरा। रविवार को जनपद में आबकारी कांस्टेबल भर्ती को परीक्षा सफलता पूर्वक संपन्न हुई, लेकिन इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस व माइक्रोफोन के जरिये पेपर हल कराने वाले चार मुन्नाभाईयों को पुलिस व सर्विलांस टीम ने मुखबिर की सूचना पर गिरफ्तार कर लिया जबकि चार मुन्नाभाई पुलिस को चकमा देने में कामयाब रहे। पुलिस इन चारों के साथ-साथ इनके सरगना की तलाश में जुटी है।
बताते चलें कि रविवार को पूरे प्रदेश में आबकारी पुलिस की कांस्टेबिल भर्ती की लिखित परीक्षा संपन्न हुई थी। सर्विलांस टीम को गत दिवस मुखबिर से सूचना मिली कि यह पेपर डिवाइसों के जरिए हल कराया जा रहा है। पहली पाली में परीक्षा देकर आए एक युवक को टीम ने संदेह के आधार पर टाउनशिप तिराहा से गिरफ्तार किया।
युवक ने अपना नाम पुष्पेंद्र पुत्र ओमप्रकाश निवासी गौंडा अलीगढ़ बताया। पूछताछ में पुष्पेंद्र ने सारा सच उगल दिया। उसने ऐसे ही तीन अन्य साथियों के नाम भी बताये। पुष्पेंद्र की निशानदेही पर रिफाइनरी व सर्विलांस टीम ने उसके तीन साथी रूपेंद्र पुत्र रामगोपाल निवासी महावन, पवन सिंह पुत्र सूर्यनाथ निवासी आजमगढ़ व अशोक कुमार पुत्र राम विलास गुप्ता निवासी गाजीपुर को भी पकड़ा। इसके बाद अन्य चार नाम और आये लेकिन वह पुलिस की पकड़ में नहीं आ सके।
सोमवार को एसपी सिटी आलोक प्रियदर्शी ने बताया कि पकड़े गए पवन व अशोक सोल्वर हैं। इनके पास से 36 मार्कशीट, सनद, दो इलेक्ट्रॉनिक्स बनियान डिवाइस, पांच मोबाइल, एक डायरी प्रश्रपत्र व हीरालाल बारहसैनी इंटर कॉलेज के प्रधानाचार्य की मोहर भी इनके पास से बरामद हुए हैं।
एसपी सिटी ने बताया कि 15 प्रश्न हल कराने के लिए 15 हजार रूपए में सौदा तय हुआ था। गैंग का मास्टरमाइंड आगरा निवासी नवीन है, यही युवक फॉर्म भरवाने से लेकर पैपर हल कराना, पास कराना और फिर नौकरी भी लगवाने के नाम पर एक अभ्यर्थी से छह लाख रूपये सौदा करता था। कुछ रकम पहले लेता था, बाकी काम होने के बाद। व्हाट्सअप के जरिए रकम व डील तय होती है। उन्होंने बताया कि परीक्षा कक्ष में बैठे परीक्षार्थी डिवाइस के जरिए पेपर का फोटो बाहर बैठे सोल्वर को देते थे, बाहर बैठे सोल्वर इनका जबाव परीक्षार्थियों को माइक्रोफोन के जरिए बताते थे।
पवन सिंह व अशोक बाहर बैठे पेपर सोल्व कराते हैं। इसके अलावा एक गणित का सोल्वर का भी नाम प्रकाश में आया है, इसके अलावा इस गैंग में जीतू उर्फ जितेंद्र निवासी पचावर महावन व कौशल पुत्र ब्रजमोहन निवासी रिफाइनरी का नाम भी प्रकाश में आया है। पूछताछ चल रही है, जल्द ही फरार अभियुक्तों को भी पकड़ा जाएगा। मुन्ना भइयों को पकडने वाली टीम सर्विलांस प्रभारी सत्यवीर सिंह, एसओ रिफाइनरी सुबोध सिंह, कांस्टेबिल विजय कुमार, विपिन कुमार, प्रशांत बघेल, अभिनय यादव व गोपाल शामिल थे। एसएसपी ने पुलिस टीम को पांच हजार का इनाम दिया है।