नई दिल्ली। भाजपा नेता यशवंत सिंहा ने वित्त मंत्री पी.चिदंबरम पर अर्थव्यवस्था को चौपट करने का आरोप लगाते हुए उनसे 18 सवाल किए है। उन्होंने कहा कि चिदंबरम को हमेशा से मजबूत अर्थव्यवस्था विरासत में मिला, लेकिन वे अपने उत्तराधिकारी को खराब अर्थव्यवस्था ही सौंपा है। उन्होंने कहा कि देश की बदहाली के लिए वित्त मंत्री सीधे जिम्मेदार है। सरकार मुद्रास्फिति को नियंत्रण करने में नाकाम रही है।
उन्होंने कहा कि मतदाताओं के सामने सबसे बड़ा प्रश्न विकास है। इस बार के चुनाव में जनता उम्मीदवार और नई सरकार से सिर्फ विकास चाहते है। उन्होंने कहा कि यूपीए सरकार के दस साल के खराब शासन का परिणाम यह रहा है कि लगातार सातवीं तिमाही में भी विकास दर पांच प्रतिशत से नीचे रही है। उन्होंने दावा किया कि एनडीए सरकार के अच्छे कार्य का परिणाम मिला यूपीए सरकार को। जिस वजह से यूपीए-1 के पहले चार साल में विकास दर अच्छा रहा।
उन्होंने कहा कि एशियन डबलपमेंट बैंक के अनुसार पांच करोड़ भारतीय आज गरीबी रेखा में जीने को मजबूर है। उन्होंने आश्चर्य प्रकट किया कि बीपीएल सर्वे 2002 के बाद हुआ ही नहीं है। मौजूदा सरकार पिछले बारह साल में बीपीएल की परिभाषा तय नहीं कर पा रही है। जबकि ग्रामीण क्षेत्र के लिए बीपीएल कार्ड महुत बड़ा मुद्दा है। सरकार के मुद्रास्फिति पर नियंत्रण न रख पाने से आरबीआई ब्याज दर बढ़ाने को मजबूर हो जाती है। जिससे निवेश पर सीधा विपरीत असर पड़ता है।
उन्होंने चिदंबरम को घेरते हुए कहा कि 1996 में जब पहली बार चिदंबरम वित्त मंत्री बने तो विकास दर 8 प्रतिशत था और जब सत्ता छोड़े तो 4.5 प्रतिशत दर था। ठीक इस तरह जब राजग ने 2004 में सत्ता छोड़ा तो विकास दर 8.4 प्रतिशत था लेकिन अब जब फिर सत्ता छोड़ कर जाएंगे तो 5 प्रतिशत से नीचे ही विकास दर है। लेकिन अब सरकार बजट का घाटा पिछले छह साल से नियंत्रित नहीं कर पा रही है। उन्होंने कहा कि 2004 में संसद में इकॉनामी सर्वे पेश करते हुए चिदंबरम ने मजबूत अर्थव्यवस्था की बात स्वीकार भी की थी।
देश की बदहाली के लिए वित्त मंत्री सीधे जिम्मेदारः यशवंत सिन्हा
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Updated : 2014-03-30T05:30:00+05:30
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