उत्तर प्रदेश में 73 हजार शिक्षकों की नियुक्ति होगी

लखनऊ | उत्तर प्रदेश राज्य सरकार ने बेसिक शिक्षा परिषद के स्कूलों में ट्रेनी शिक्षकों की सीधी भर्ती को मंजूरी दे दी है। इसके साथ ही टीचर्स एलिजिबिलिटी टेस्ट पास बीएड डिग्रीधारकों को 72 हजार 825 ट्रेनी टीचर के पद पर रखने का रास्ता साफ हो गया है। राज्य के उच्च प्राथमिक स्कूलों में शिक्षकों के कुल पदों में से 50 फीसदी को गणित व विज्ञान शिक्षकों की सीधी भर्ती के लिए रिजर्व कर दिया गया है। साथ ही, बेसिक शिक्षा परिषद से सहायता प्राप्त जूनियर हाई स्कूलों में शिक्षकों की भर्ती के लिए टीईटी पास होना अनिवार्य कर दिया गया है। हालांकि भर्ती शासनादेश जारी होने के बाद ही शुरू होगी। मुख्यमंत्री अखिलेश यादव की अध्यक्षता में मंगलवार को हुई कैबिनेट की बैठक में उत्तर प्रदेश बेसिक शिक्षा (अध्यापक) सेवा नियमावली 1981 में किए गए संशोधन की मंजूरी दे दी गई है। लेकिन विधान मंडल सत्र चलने के कारण सरकार ने इन फैसलों को सार्वजनिक नहीं किया। शिक्षा का अधिकार अधिनियम लागू होने के बाद कक्षा 8 तक के स्कूलों में शिक्षकों की कमी को दूर करने के लिए रिक्त पदों पर टीईटी पास बीएड डिग्रीधारकों को ट्रेनी और असिस्टेंट टीचर के पद पर सीधी भर्ती की व्यवस्था दी गई है। उत्तर प्रदेश बेसिक शिक्षा नियमावली में शिक्षकों की सीधी भर्ती का प्रावधान नहीं था। इसके लिए नियमावली में संशोधन किया गया। शिक्षकों के रिक्त पदों को भरने के लिए बीटीसी पास अभ्यर्थियों की कमी है। इसलिए यूपी टीईटी और केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा परिषद नई दिल्ली द्वारा आयोजित टीईटी पास बीएड, बीएड (विशेष शिक्षा) व डीएड (विशेष शिक्षा) डिग्रीधारियों को ट्रेनी टीचर की पोस्ट पर सीधी भर्ती पाने का हकदार मान लिया गया है। प्रशिक्षु शिक्षकों को 7300 रुपये नियत वेतनमान दिया जाएगा। इसके बाद चरणबद्ध तरीके से इन शिक्षकों को छह माह की ट्रेनिंग देकर सहायक अध्यापक के पद पर नियुक्ति दी जाएगी

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