बिना वीजा प्रवेश दे पाकिस्तान: भारत
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करतारपुर मामला
नई दिल्ली, स्व.स.से.
बालाकोट एयर स्ट्राइक और उसके बाद सीमा पर पाकिस्तान की हरकत के बाद बढ़े तनाव के बीच गुरुवार को दोनों देशों के अधिकारियों के बीच करतारपुर कॉरिडोर को लेकर अहम बैठक हुई। इस दौरान भारत ने पाकिस्तान से करतारपुर गुरुद्वारे के लिए हर रोज 5000 श्रद्धालुओं को बिना वीजा जाने की अनुमति देने की मांग की। पंजाब के गुरदासपुर जिले और सीमा के उस पार करतारपुर साहिब के बीच श्रद्धालुओं के लिए प्रस्तावित कॉरिडोर को खोलने का मुद्दा गरमाया हुआ है। भारत ने यह भी सुझाव दिया कि श्रद्धालुओं को करतारपुर साहिब तक पैदल जाने की अनुमति दी जाए और सप्ताह के सातों दिन इस कॉरिडोर को खुला रखा जाना चाहिए। प्रेस वार्ता के दौरान गृह मंत्रालय के संयुक्त सचिव एससीएल दास ने कहा कि भारत ने जोर देकर कहा कि करतारपुर कॉरिडोर की धार्मिक भावना के तहत इसे पूरी तरह से वीजा मुक्त होना चाहिए। इसके साथ ही अतिरिक्त दस्तावेज या प्रक्रिया के नाम पर कोई अतिरिक्त रुकावट नहीं थोपा जाना चाहिए। करतारपुर में ही सिख धर्म के संस्थापक गुरु नानक देव जी ने अपने जीवन के अंतिम वर्ष साल गुजारे थे। बातचीत के बाद जारी संयुक्त बयान में कहा गया कि दोनों पक्षों ने परियोजना के विभिन्न पहलुओं और प्रावधानों को लेकर विस्तृत और रचनात्मक बातचीत की और करतारपुर साहिब गलियारे को जल्द चालू करने की दिशा में काम करने पर सहमति जताई।
पिछले साल रखी थी कॉरिडोर की आधारशिला
कॉरिडोर डेरा बाबा नानक से पाकिस्तान के करतारपुर के बीच बनना है। नवंबर में भारत और पाकिस्तान ने इस कॉरिडोर के अपने-अपने क्षेत्र में निर्माण की आधारशिला रखी थी। पाकिस्तान विदेश कार्यालय के प्रवक्ता मोहम्मद फैसल (महानिदेशक दक्षिण एशिया और सार्क) ने भारतीय उच्चायुक्त से इस कॉरिडोर पर अगली चर्चा के लिए भारतीय दल को 28 मार्च को पाकिस्तान भेजने का आग्रह भी किया था।
Naveen Savita
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