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ढाई घंटे में सिर्फ दिखावे की कार्रवाई कर लौटा निगम का अमला

लोगों ने कहा, नोटिस नहीं मिला, न्यायालय में केस चल रहा है, फिर कैसे तोड़ सकते हो हमारे मकान अधिकारी कहते रहे जेसीबी चलाओ, लेकिन चालक ने नहीं चलाई कार्रवाई को रुकवाने के लिए राजनेताओं के आते रहे फोन

ढाई घंटे में सिर्फ दिखावे की कार्रवाई कर लौटा निगम का अमला
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ग्वालियरसर अप हमें यह बताए कि बिना नोटिस दिए आप हमारी बिल्डिंग को कैसे तोड़ सकते हो। आप ये कागज देख लीजिए, हमारे केस अभी उच्च न्यायालय में चल रहे हैं। फिर आप हमारी बिल्डिंग व होटलों पर जेसीबी कैसे चला सकते हो। यह बात गुरुवार को सिटी सेंटर स्थित डीआरडीई की 200 मीटर परिधि में बिना अनुमति निर्मित बिल्डिंगों को हटाने पहुंचे निगम अधिकारियों से क्षेत्रीय लोगों ने कही।

लेकिन निगम अधिकारियों ने किसी की एक न सुनी व दो दुकानों व दो प्लाटों की बाउंड्रीवॉल पर जेसीबी चला दी। ढाई घंटे में नगर निगम के मदाखलत अमले ने सिर्फ दिखावे की कार्रवाई की। क्योंकि उच्च न्यायालय में निगमायुक्त विनोद शर्मा को रिपोर्ट प्रस्तुत करनी है। जिसके चलते गुरुवार को आनन फानन में बिना नोटिस दिए यह कार्रवाई की गई है।

इस दौरान जब निगम के अमले ने कार्रवाई शुरू की, वैसे ही अवैध निर्माणों को छोडऩे के लिए राजनेताओं व प्रशासनिक दबाव निगम अधिकारियों पर आने लगा। जिसके चलते बिल्डिंगों को छेड़ा तक नहीं गया।

गुरुवार की दोपहर लगभग 2 बजे उपायुक्त एपीएस भदौरिया व भवन अधिकारी सुरेश अहिरवार मदाखलत अमले के साथ अवैध निर्माण हटाने मौके पर पहुंचे। तभी जब जेसीबी की मशीन दलवीर सिंह के घर के आगे पहुंची, तो वहां पर मौजूद लोगों ने निगम अधिकारियों का घेराव करना शुरू कर दिया। लोगों ने कहा कि बिना नोटिस दिए कैसे तुड़ाई हो सकती है। हमारा तो केस उच्चन्यायालय में चल रहा है। लोगों का गुस्सा देख पहले से वहां मौजूद भीड़ को पुलिस ने मौके से खदेड़ दिया।

बड़ी इमारतों को नहीं छेड़ा, कांग्रेस नेता भी पहुंचे

कार्रवाई को रोकने के लिए एक ओर जहां निगम अधिकारियों के पास राजनेताओं के फोन आ रहे थे, वहीं दूसरी ओर क्षेत्रीय लोगों का साथ देने के लिए कांग्रेस नेता मितेन्द्र दर्शन सिंह भी मौके पर जा पहुंचे व कार्रवाई को रोकने की बात कही। इस दौरान निगम अधिकारियों से कांग्रेस नेता की काफी देर तक बहस होती रही, लेकिन निगम ने किसी की भी एक न सुनी। उधर नगर निगम के अधिकारियों ने एक भी बड़ी इमारत को नहीं छेड़ा। जिसके चलते क्षेत्रीय लोगों ने निगम अधिकारियों को खूब खरी खोटी सुनाई।

पत्नी व बच्ची को रोता देख, घर पहुंचाया सामान

सिटी सेंटर स्थित कार्रवाई के दौरान जब निगम का मदाखलत अमला अवैध बिल्डिंग को तोडऩे पहुंचा, तो वहां पर रह रहा एक परिवार घबरा गया। इस दौरान बच्ची व उसकी मां फूट-फूटकर रोने लगी। जिस पर निगम अधिकारियों ने अपने कर्मचारियों से उनका पूरा सामान बाहर निकलवाकर अपने वाहनों से दूसरी जगह पहुंचाया। कार्रवाई के दौरान मदाखलत अधिकारी महेन्द्र शर्मा, जेडओ राजीव सोनी, प्रवीण भार्गव आदि उपस्थित थे।

सिर्फ दो प्लॉट व दो दुकानें ही तोड़ पाए

कार्रवाई के दौरान निगम के अधिकारी जेसीबी मशीन के चालक को तुड़ाई करने के निर्देश दे रहे थे, लेकिन चालक ने अधिकारियों की एक न सुनी। इस दौरान मदाखलत अमला सिर्फ दो प्लॉटों की बाउंड्री व दो दुकानों को ही तोड़ पाया। कार्रवाई के दौरान लोगों ने निगम अधिकारियों को जमकर कोसा।

Updated : 20 July 2018 10:13 AM GMT
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Swadesh Digital

स्वदेश वेब डेस्क www.swadeshnews.in


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