Home > Lead Story > CAA: शरणार्थियों की रक्षा करेंगे और घुसपैठियों को भगाएंगे - योगी

CAA: शरणार्थियों की रक्षा करेंगे और घुसपैठियों को भगाएंगे - योगी

CAA: शरणार्थियों की रक्षा करेंगे और घुसपैठियों को भगाएंगे - योगी
X

गया/नई दिल्ली। नागरिकता संशोधन कानून के समर्थन में गया पहुंचे यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा है कि शरण में आए हुए की रक्षा करेंगे और घुसपैठियों को निकाल भगाएंगे। यह कानून नागरिकता देने के लिए है, लेने के लिए नहीं। जब हमें नागरिकता देनी है तो भयभीत होने की आवश्यकता नहीं होनी चाहिए। यह किसी जाति, धर्म, मजहब, क्षेत्र और भाषा का विरोधी नहीं है। योगी मंगलवार को गांधी मैदान में जुटी भीड़ को संबोधित कर रहे थे।

उन्होंने कहा कि नागरिकता कानून का एनआरसी से कोई मतलब नहीं है। एनआरसी असम के अंदर सुप्रीम कोर्ट के आदेश से लागू हो रही है। योगी ने घर-घर जाकर नागरिकता कानून समझाने की अपील की। कहा, जिस कानून के लिए प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह का अभिनंदन होना चाहिए था। भ्रम फैलाकर मुठ्ठी भर लोगों के द्वारा धरना प्रदर्शन, आगजनी हो रही है। जिन्हें भारत की प्रगति अच्छी नहीं लगती वो गुमराह करने का प्रयास कर रहे हैं। समाज को इसके प्रति जागरूक होना होगा। इससे पहले मंच पर योगी आदित्यनाथ का मंच पर स्वागत विष्णु चरण और गदा देकर सम्मानित किया गया। मंच से डिप्टी सीएम सुशील मोदी, भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. संजय जयसवाल के अलावा कई नेताओं ने संबोधित किया।

योगी आदित्यनाथ ने अपने संबोधन में कांग्रेस के साथ-साथ पाकिस्तान करारा प्रहार किया। कहा कि कांग्रेस ने सत्ता प्राप्ति के लिए देश का विभाजन कराया। हिन्दू, सिख और अन्य समुदाय के लोगों ने इसका विरोध किया था। 1947 से आजतक भारत में मुस्लिमों की आबादी सात से आठ गुणा बढ़ी है। जबकि पाकिस्तान में विभाजन के समय 23 फीसदी हिन्दू अब मात्र एक फीसदी रह गए हैं। पाकिस्तान से मुस्लिम या तो भगा दिए गए, मार दिए गए या उनका धर्मान्तरण करा दिया गया। 1950 में जब पाकिस्तान में अल्पसंख्यकों का कत्लेआम होने लगा तो दोनों देशों के प्रधानमंत्री, नेहरू-लियाकत के बीच समझौता हुआ। अल्पसंख्यकों की रक्षा के लिए। भारत ने समझौते का पालन किया लेकिन पाकिस्तान ने नहीं किया। 1955 जब नेहरू जी देश के प्रधानमंत्री थे तो भारत ने नागरिकता कानून बनाया था। समय-समय पर संशोधन भी हुआ। इस अंतिम संशोधन के लिए एक समय सीमा की गई। 21 दिसंबर 2014 के पहले पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बांग्लादेश से जो भी हिन्दू, सिख, बौद्ध, जैन, पारसी, इसाई प्रताड़ित थे। जिन्होंने विभाजन का विरोध किया। वे भारत के अंदर आए हैं तो शर्तों के आधार पर नागरिकता दी जाएगी।

योगी के संबोधन के समय ही आसमान में सैकड़ों काले गुब्बारों का गुच्छा दिखा। आसमान में उसकी उंचाई देखने से साफ है कि यह काफी दूर से आसमान में छोड़ा गया। संबोधन के समय सभी आसमान की तरफ देखने लगे। लेकिन योगी ने अपना संबोधन जारी रखा।

Updated : 14 Jan 2020 10:04 AM GMT
Tags:    
author-thhumb

Swadesh Digital

स्वदेश वेब डेस्क www.swadeshnews.in


Next Story
Top