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तीन करोड़ के अवैध सोने के आभूषण

धनतेरस और दिवाली पर सराफा बाजार में बिकने के लिए आए सोने के बढ़े दामों से बढ़ेगी व्यापारियों की आय

तीन करोड़ के अवैध सोने के आभूषण
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ग्वालियरसदियों से एक कहावत प्रचलन में है कि 'आम के आम और गुठलियों के दाम। इसका तात्पर्य यह है कि दोहरा लाभ होना। यह कहावत शहर के सराफा कारोबारियों पर सटीक बैठती है। सराफा कारोबारी त्यौहारों का फायदा उठाकर अवैध सोने (दो नम्बर) से बने गहनों को बेचने का काम कर रहे हैं। इन गहनों को बेचने का कार्य त्यौहारी सीजन में अधिक होता है। विश्वसनीय सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार सराफा बाजार में कुछ सराफा कारोबारियों द्वारा दस किलो सोना, जिसकी वर्तमान कीमत लगभग तीन करोड़ बीस लाख रुपए हैं, उसके गहने त्यौहारी सीजन (धनतेरस और दीपावली) पर बेचने के लिए लाए गए हैं। इन सराफा कारोबारियों द्वारा गहनों में तांबा अधिक मात्रा में मिलाकर बेचा जा रहा है। इसी के साथ इन गहनों में कांच और लाख का भी काम है और सोने की मात्रा बहुत ही कम है। त्यौहारी सीजन में इस प्रकार के गहने बेचने से इन सराफा कारोबारियों द्वारा जमकर कमाई की जाती है।

धनतेरस और दीपावली का त्यौहार बिलकुल नजदीक आ गया है। बाजारों में लोगों की भीड़ बढ़ गई है। इस दौरान त्यौहार के साथ सहालगी खरीदारी भी चल रही है। सराफा बाजार के बड़े सराफा कारोबारियों के शोरूमों पर एक-एक दिन में लाखों रुपए के गहने बिक रहे हैं। इन गहनों को बनाने का कार्य आगरा में हो रहा है, जिसमें सोना कम और तांबा, लाख व कांच का उपयोग अधिक किया गया है। इस प्रकार के गहने बेचने पर जहां ग्राहकों की जेब पर डाका डल रहा है वहीं पक्का बिल नहीं देने पर आयकर और जीएसटी विभाग को भी जमकर चूना लगाया जा रहा है।

रातों-रात खड़े हो रहे हैं महल

धोखाधड़ी के इस खेल में इन सराफा कारोबारियों द्वारा दिन दोगुना और रात चौगुना पैसा कमाया जा रहा है। त्यौहारों में इस पैसे की आमद और अधिक बढ़ जाती है। इस दौरान जबरदस्त रुपया आने के कारण इन सराफा कारोबारियों द्वारा शानदार महल खड़े किए जा रहे हैं, जो कि एक सामान्य व्यक्ति के लिए किसी कल्पना से कम नहीं है।

केवल दिखावटी हैं ये गहने

शोरूमों पर बिकने वाले इन गहनों की कीमत दस से तीस लाख रुपए तक है। यह गहने देखने में बेहद ही सुंदर हैं, लेकिन जब इनको बाजार में बेचने के लिए जाया जाता है तो इनकी कीमत न के बराबर रह जाती है। प्राप्त जानकारी के अनुसार ऐसे कई मामले प्रकाश में आए हैं, जिसमें लोगों ने गहने तो खरीद लिए और पक्का बिल भी ले लिया। जब इन गहनों को बाजार में बेचा गया तो तीस लाख वाले गहने की कीमत पांच लाख रुपए भी नहीं आंकी गई। पुलिस में शिकायत करने के डर से कई सराफा कारोबारियों ने ऐसे मामलों को अपने शोरूम में सुलझाया और ग्राहकों को उनके गहने की कीमत देकर रफा-दफा कर दिया, जिससे उनके शोरूम की साख कम न हो सके।

अब निकल रहा है नोटबंदी में कमाया गया पैसा

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार इन सराफा कारोबारियों ने नोटबंदी के दौरान अथाह पैसा कमाया था, जिसकी गणना करना असंभव है। इन सराफा कारोबारियों द्वारा अब इस पैसे को बाहर निकाला जा रहा है और अपने महल और दुकानें खड़ी की जा रही हैं। इन सराफा कारोबारियों द्वारा शहर के पास जमीनें भी खरींदी जा रही हैं और होटलों में पैसा लगाया जा रहा है।

व्यापारियों की पौ बारह

इस समय सोने के दाम शीर्ष पर हैं। बाजार में दस ग्राम स्टेण्डर्ड सोना 32 हजार से अधिक और गहने 30 हजार रुपए से अधिक प्रति दस ग्राम के हिसाब से बिक रहे हैं। बाजार में इन गहनों की एक किलो की कीमत 30 लाख से 32 लाख रुपए तक है। इन व्यापारियों द्वारा मुम्बई से अवैध सोना मंगाकर और आगरा में उसके गहने बनवाकर सराफा बाजार में बेचे जा रहे हैं और जमकर मलाई काटी जा रही है।

Updated : 30 Oct 2018 11:25 AM GMT
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Swadesh Digital

स्वदेश वेब डेस्क www.swadeshnews.in


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